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Friday 14 December 2018 06:01:53 PM
नई दिल्ली। राफेल लड़ाकू विमान सौदे को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने वालों सुप्रीम कोर्ट के वकील प्रशांत भूषण, एमएल शर्मा, विनीत ढांडा, आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह एवं एनडीए सरकार में मंत्री रह चुके यशवंत सिन्हा और अरुण शौरी को आज मुंह की खानी पड़ी है। सुप्रीम कोर्ट ने इन्हें करारा झटका देते हुए राफेल लड़ाकू विमान सौदे में नरेंद्र मोदी सरकार को क्लीन चिट दे दी है। इन याचिकाकर्ताओं ने राफेल सौदे में बड़ी गड़बड़ियों का आरोप लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट से अपील की थी कि वह इस मामले में सीबीआई को एफआईआर दर्ज करने का निर्देश दे। गौरतलब है कि नरेंद्र मोदी सरकार ने फ्रांस के साथ भारतीय वायुसेना की मारक शक्ति बढ़ाने के लिए करीब 58,000 करोड़ रुपये में 36 राफेल लड़ाकू विमान खरीदने का समझौता किया हुआ है। दो इंजन वाले इन विमानों का निर्माण फ्रांस की सरकारी कंपनी द साल्ट एविशन करती है।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को भी बड़ा झटका लगा है, क्योंकि इन्होंने राफेल लड़ाकू विमान सौदे में अनिल अंबानी को दलाली दिलाने का नरेंद्र मोदी सरकार पर आरोप लगाया था और इस मुद्दे को देशभर में बड़े जोरशोर से उठाया था और मोदी सरकार की सफाई के बावजूद एकबार तो ऐसा लगा था कि वास्तव में यह आरोप सच होगा, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने दूध का दूध पानी का पानी कर दिया बड़ी राहत मिली है। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और उनकी मंडली इस मामले में महा झूंठे साबित हुए और अब उनके पास कोई ऐसा मुद्दा नहीं बचा है कि वह मोदी सरकार को घेर सकें या उसे चुनावी मुद्दा बना सकें। राफेल डील पर उठाए गए सवालों पर सुप्रीम कोर्ट ने साफ-साफ कहा है कि इस सौदे पर कोई भी संदेह नहीं है और इसे देश की सुरक्षा के हित में जल्द से जल्द लागू किया जाए। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने इसे लेकर दायर सभी जनहित याचिकाएं भी खारिज कर दी हैं।
सुप्रीम कोर्ट में आज राफेल पर सुनवाई पर पूरे देश के कान लगे थे। कांग्रेस तीन राज्यों में विजय से जितनी खुश थी, उतनी ही उसे सुप्रीम कोर्ट के उसकी मर्जी के संभावित फैसले पर उत्सुकता थी, मगर सुप्रीम कोर्ट ने न केवल कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की सारी खुशी काफूर कर दी, अपितु याचिकाकर्ताओं के मनसूबे भी ध्वस्त कर दिए। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने एक प्रेस कॉंफ्रेंस में कहा कि राफेल डील पर मोदी सरकार पर गंभीर आरोप लगाने वाले कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी देश से और भारतीय सेना से माफी मांगें। उन्होंने कहा कि कांग्रेस बताए कि इस आरोप के उसके पास क्या स्रोत हैं, उसके पीछे कौन हैं? सुप्रीम कोर्ट के फैसले और भाजपा अध्यक्ष के सवाल पर कांग्रेस बैकफुट पर है और उसकी विश्वसनीयता धराशाई हो गई है। उत्तर भारत में तीन राज्यों के चुनाव में पराजय से डरी भाजपा का खोया आत्मविश्वास यकायक चरम पर पहुंच गया है।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर नज़र डालें तो उसने राफेल पर सवालों को निरुत्तर किया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राफेल सौदे की खरीद प्रक्रिया में कोई भी कमी नहीं पाई गई है, इसी प्रकार जहां तक राफेल की कीमत का सवाल है तो यह तय करना कोर्ट का काम नहीं है, क्योंकि टेक्नॉलाजी है, जिसकी कीमत घटबढ़ सकती है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि भारतीय वायुसेना को ऐसे विमानों की जरूरत है और कोर्ट सरकार के विमान ख़रीदने के फ़ैसले में दख़ल नहीं दे सकता है। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली और केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने तो कांग्रेस पर तगड़ा हमला किया है और कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है। याचिकाकर्ताओं में एक वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले में नाखुशी जाहिर की है, लेकिन अब इसके कोई मायने नहीं रह गए हैं। राफेल मामले की सुनवाई प्रधान न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने की थी जिसपर आज फैसला सुरक्षित रखा गया था। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट की यह टिप्पणी बहुत गंभीर है कि राफेल विमान की कीमत को सार्वजनिक नहीं किया जा सकता, क्योंकि इससे देश के दुश्मन फायदा उठा सकते हैं।