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Monday 11 May 2020 06:21:41 PM
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज देश के उन सभी वैज्ञानिकों की सराहना की है, जो विज्ञान और प्रौद्योगिकी का उपयोग दूसरों के जीवन में सकारात्मक अंतर लाने के लिए कर रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस पर ट्वीट करके कहा कि राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी दिवस पर हमारा देश उन सभी को सलाम करता है, जो दूसरों के जीवन में सकारात्मक अंतर लाने के लिए प्रौद्योगिकी का फायदा उठा रहे हैं और दूसरों को भी लाभ पहुंचा रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि हम 1998 में इस दिन अपने वैज्ञानिकों की असाधारण उपलब्धि को याद करते हैं, जोकि भारत के इतिहास में एक ऐतिहासिक क्षण था।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 11 मई 1998 को पोखरण परीक्षण का उल्लेख करते हुए कहा कि परमाणु परीक्षण तब एक मजबूत राजनीतिक नेतृत्व के कारण ही संभव था। प्रधानमंत्री ने अपने मन की बात के एक कार्यक्रम के दौरान परीक्षणों पर अपने उद्धरण को साझा किया था। उन्होंने कहा कि 1998 में पोखरण में हुए परीक्षणों ने यह साबित किया कि मजबूत राजनीतिक नेतृत्व बड़े बदलाव कर सकता है। उन्होंने कहा कि यहां मैंने मन की बात के एक कार्यक्रम के दौरान भारत के वैज्ञानिकों और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के असाधारण नेतृत्व का उल्लेख किया था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट किया कि आज प्रौद्योगिकी दुनिया को कोविड-19 से मुक्त कराने के प्रयासों में अनेक लोगों की मदद कर रही है। उन्होंने कहा कि मैं उन सभी को सलाम करता हूं जो कोरोना वायरस को पराजित करने के तरीकों पर अनुसंधान और नवीन अविष्कार करने में सबसे आगे हैं, ताकि हम एक स्वस्थ्य और बेहतर ग्रह बना सकें।
गौरतलब है कि 11 मई 1998 को भारत ने पोखरण में सफल परमाणु परीक्षण किया था और इस दिन अपने को परमाणु शक्ति घोषित किया था। यह उस समय का अटल बिहारी वाजपेयी सरकार का सबसे महत्वपूर्ण फैसला था और भारत के लिए जरूरी था, क्योंकि विश्व समुदाय के परमाणु शक्ति सम्पन्न देश भारत का शक्तिशाली देश होने का उपहास कर रहे थे और पाकिस्तान अमेरिका की गोद में बैठकर भारत को चुनौतियां दे रहा था। परमाणु परीक्षण के बाद भारत पर अंतर्राष्ट्रीय समुदाय ने अनेक प्रतिबंध लगाए, लेकिन भारत ने उनका सफलतापूर्वक सामना करते हुए अपने देश का विकास अवरुद्ध नहीं होने दिया, जबकि पाकिस्तान परमाणु परीक्षण करने के बाद से आजतक बर्बादी की तरफ ही जा रहा है। दुनिया भारत को एक जिम्मेदार न्यूक्लियर पॉवर मानती है, जबकि पाकिस्तान को एक गैरजिम्मेदाराना देश और गैर भरोसेमंद देश ही मानती है।