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Tuesday 4 August 2020 02:46:39 PM
नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने नर्सिंग समुदाय के सदस्यों के साथ रक्षाबंधन का पर्व मनाया। भारत के प्रशिक्षित नर्स संगठन, सैन्य नर्सिंग सेवा एवं राष्ट्रपति के एस्टेट क्लिनिक के प्रतिनिधियों ने राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और उनकी पत्नी सविता कोविंद एवं पुत्री को राखी बांधी। नर्सों ने राष्ट्रपति को कोरोना महामारी से निपटने में अपने अनुभव भी बताए। राष्ट्रपति ने नर्सिंग समुदाय का स्वागत किया और उन्हें रक्षक बताया, जो न केवल ऐसा जान बचाते हैं, बल्कि कर्तव्यपालन के दौरान अपनी जान को भी जोखिम में डालते हैं।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि कर्तव्य के प्रति ऐसी प्रतिबद्धता नर्सों को सम्मान का हकदार बनाती है, जो अग्रिम पंक्ति के कोरोना योद्धा की भूमिका का निर्वाह कर रही हैं। राष्ट्रपति ने कहा कि पारंपरिक रूपसे रक्षाबंधन के दिन बहनें अपने भाईयों से उन्हें हर प्रकार के खतरे से रक्षा करने का वचन मांगती हैं, नर्सों के मामले में वे ही अपने समर्पण और प्रतिबद्धता के जरिए अपने भाईयों की सहायता करती हैं तथा सभी लोगों के लिए भी सुरक्षा सुनिश्चित करती हैं। सैन्य नर्सिंग सेवा की दो सदस्य, जो रोगियों की देखभाल करने के दौरान जांच में पॉजिटिव पाई गईं, लेकिन जल्द ही स्वस्थ हो गईं और नए उत्साह से अपनी ड्यूटी फिरसे शुरू कर दी का उल्लेख करते हुए राष्ट्रपति ने कोरोना महामारी के दौरान देशवासियों के प्रति लगन, समर्पण एवं अनुकरणीय सेवाओं के लिए समस्त नर्सिंग बिरादरी को धन्यवाद दिया।
कोरोना महामारी से पीड़ित रोगियों की मदद करने का अपना अनुभव साझा करते हुए प्रत्येक नर्स ने राष्ट्रपति को बताया कि उन सभी की अपने विचारों में सर्वसहमति थी कि कोविड-19 के रोगियों को रोग को लेकर गलत धारणा के कारण गंभीर मानसिक तनाव झेलना पड़ता है और इस समस्या का समाधान चिकित्सकीय एवं काउंसिलिंग के जरिए किए जाने की आवश्यकता है। राष्ट्रपति ने नर्सों के विचारों को धैर्यपूर्वक सुना और राष्ट्र के प्रति उनकी अनुकरणीय सेवाओं के लिए उनका मनोबल बढ़ाया और उनकी प्रशंसा की।