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Wednesday 6 November 2013 07:25:36 AM
वाराणसी। रेल मंत्री मल्लिकार्जुन खडगे ने भारतीय रेल की एक उत्पादन इकाई-डीजल लोकोमोटिव वर्क्स (डीएलडब्ल्यू) वाराणसी से अब तक के सबसे पहले ड्यूअल कैब 4500 एच पी फ्रेट डीजल लोकोमोटिव 'विजय' को झंडी दिखाकर रवाना किया। 'विजय' को रवाना करने से पूर्व लोकोमोटिव के लिए रेल मंत्री ने रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष अरुणेंद्र कुमार, महाप्रबंधक बीपी खरे और रेल मंत्रालय के अन्य अधिकारियों के साथ कई औपचारिकताएं पूरी कीं।
डीएलडब्ल्यू के निष्पादन पर प्रसन्न्ता व्यक्त करते हुए रेल मंत्री ने कहा कि डीएलडब्ल्यू केवल उत्पादन के क्षेत्र में ही नहीं बल्कि अन्य क्षेत्रों में भी एक नया मील का पत्थर स्थापित कर रहा है। क्षेत्रीय रेलवे की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए डीएलडब्ल्यू ने प्रौद्योगिकी उन्नयन और विभिन्न नए लोकोमोटिवों की डिजायन तैयार करने में अच्छे परिणाम भी दिए हैं। चाहे वह ड्यूअल कैब पैसेंजर लोकोमोटिव डब्ल्यूडीपी4डी, होटल लोड लोकोमोटिव, 5500 होर्सपावर लोकोमोटिव डब्ल्यूडीजी5 और अब तक का पहला ड्यूअल कैब डीजल फ्रेट लोकोमोटिव डब्ल्यूडीजी4डी ही क्यों न हो, डीएलडब्ल्यू हमेशा अपने उद्देश्य पर खरा उतरा है।
उन्होंने कहा कि यह बात उल्लेखनीय है कि डब्ल्यूडीजी4डी की डिजायन पूरी तरह स्वदेशी है, जो डीएलडब्ल्यू और आरडीएसओ के प्रयासों से पूरा किया गया है। इस अवसर पर रेल मंत्री ने भूलनपुर रेलवे स्टेशन पर स्वतंत्रता सेनानी एक्सप्रेस के ठहरने, डीएलडब्ल्यू एडमिन में सब-वे की घोषण की। रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष अरूणेंद्र कुमार ने कहा कि डीएलउब्ल्यू ने न केवल अपना उत्पादन काफी बढ़ाया है, बल्कि इसमें अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियां भी विकसित की हैं। उन्होंने कहा कि इस डब्ल्यूडीजी4डी उच्च होर्सपावर फ्रेट लोकोमोटिव का निर्माण होना न केवल डीएलडब्ल्यू के लिए बल्कि भारतीय रेल और देश के लिए भी काफी सराहनीय है। महाप्रबंधक बीपी खरे ने रेल मंत्री के साथ-साथ अतिथियों, अधिकारियों और कर्मचारियों का स्वागत किया।