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Monday 6 August 2018 04:06:11 PM
हैदराबाद। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद तेलंगाना के संगारेड्डी जिले में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान हैदराबाद के सातवें दीक्षांत समारोह में शामिल हुए। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने इस अवसर पर कहा कि दूसरी पीढ़ी के दौर में आईआईटी का रूप नवाचार शोधों और अध्ययनों से काफी विकसित हुआ है और आईआईटी हैदराबाद ने आईआईटी के अतीत के साथ-साथ पुराने मॉडल से भी काफी कुछ सीखा है। राष्ट्रपति ने कहा कि वर्ष 1950 और 1960 के दशक में देश में स्थितियां अलग-अलग थीं, लेकिन अब भारत बदल गया है, यहां प्रौद्योगिकी और इंजीनियरिंग के क्षेत्र में नए आयाम विकसित हुए हैं भारत विभिन्न क्षेत्रों में एक समृद्धशाली राष्ट्र के रूपमें मजबूती से आगे बढ़ रहा है। राष्ट्रपति ने कहा कि हमारी आकांक्षाएं भारी औद्योगिक के आधार तक ही सीमित नहीं हैं, जिन्हें हमने छह दशक पहले बनाया था, इसके बजाय आईआईटी हैदराबाद को चौथी औद्योगिक क्रांति के लिए प्रासंगिक माना जा रहा है, जो 21वीं शताब्दी में नई इबादत लिखेगा।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि मुझे यह जानकर खुशी हुई है कि आईआईटी हैदराबाद ने उद्यमिता के लिए अनुसंधान और प्रचार केंद्रों का नेटवर्क स्थापित करके एक नई शुरुआत की है। राष्ट्रपति ने कहा कि सीखने के सर्वोत्तम वैज्ञानिक विश्वविद्यालय और संस्थान न सीखाने की दुकानें हैं और न ही सिर्फ डिग्री पाने के कारखाने हैं, बल्कि ये प्रौद्योगिकी आधारित खोज और प्रौद्योगिकी संचालित स्टार्टअप के मुख्य स्रोत हैं। उन्होंने कहा कि विज्ञान, अकाद्मिक संस्थानों और विश्वविद्यालयों, अनुसंधान प्रयोगशालाओं, वाणिज्यिक अनुप्रयोगों और निजी उद्यमों में सार्वजनिक निवेश के क्षेत्रों में जादुई क्षमता है, इसका सबसे अच्छा उदाहरण अमेरिका का सिलिकॉन वैली है, सिलिकॉन वैली के मूल में बुनियादी विज्ञान और प्रौद्योगिकी परिसरों और उनके प्रतिभाशाली संकाय एवं छात्र हैं। गौरतलब है कि अमेरिका में उत्तरी कैलिफोर्निया के सान फ्रांसिस्को खाड़ी क्षेत्र का दक्षिणी भाग सिलिकॉन वैली के नाम से प्रसिद्ध है। यहां पर भारी संख्या में सिलिकॉन के एकीकृत परिपथ यानी चिप बनाने वाली कंपनियां हैं, जिसके कारण इसे यह नाम मिला है।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि आईआईटी, हैदराबाद शहर और महानगर क्षेत्र में स्थापित किया गया है, जहां इस तरह के पारिस्थितिक तंत्र के सभी तत्व मौजूद हैं। उन्होंने कहा कि हैदराबाद में वैज्ञानिक खोज करने की पुरानी परंपरा रही है और यहां वैज्ञानिक तथा औद्योगिक अनुसंधान परिषद, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, जैव प्रौद्योगिकी विभाग, परमाणु ऊर्जा विभाग, रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन और भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन के 19 अनुसंधान केंद्र और प्रयोगशालाएं हैं। राष्ट्रपति ने कहा कि अकेले इनमें से कई संस्थाएं उत्कृष्ट कार्य कर रही हैं, लेकिन इन्हें और भी प्रोत्साहन देने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि भारत में आईआईटी हैदराबाद प्रौद्योगिकी व इंजीनियरिंग के विकास में एक मील का पत्थर साबित होगा और यह न केवल खुद के लिए, बल्कि पूरे हैदराबाद एवं देश में ज्ञान के नए केंद्र के रूपमें अपनी उपस्थिति दर्ज़ कराएगा। राष्ट्रपति ने दीक्षांत समारोह में छात्र-छात्राओं को पुरस्कार भी प्रदान किए। समारोह में तेलंगाना के राज्यपाल ईएसएल नरसिम्हा भी उपस्थित थे।