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Tuesday 20 November 2018 05:51:34 PM
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियों का उपयोग कर ‘कारोबार में सुगमता’ से जुड़ी सात चिन्हित समस्याओं को सुलझाने के लिए ‘ग्रैंड चैलेंज’ का शुभारंभ किया है। इस चैलेंज का उद्देश्य युवा भारतीयों, स्टार्टअप्स और अन्य निजी उद्यमियों की क्षमताओं का दोहन करना है, ताकि वर्तमान अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी का उपयोग कर जटिल समस्याओं का समाधान निकाला जा सके। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल नई दिल्ली में अपने आवास पर एक कार्यक्रम के दौरान भारतीय और विदेशी कंपनियों के चुनिंदा मुख्य कार्यकारी अधिकारियों के साथ संवाद किया। प्रधानमंत्री ने भारत में कारोबारी माहौल को निरंतर बेहतर करने के लिए सरकार के प्रयासों से मुख्य कार्यकारी अधिकारियों को अवगत कराया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को भी दुनिया के उन सबसे आकर्षक स्थलों में शुमार करने का अपना संकल्प दोहराया, जहां कारोबार करना सर्वाधिक सहज होगा। प्रधानमंत्री ने सुधार के रास्ते पर अग्रसर मंत्रालयों एवं विभागों के साथ-साथ राज्यों और नगरनिगमों के समस्त सरकारी पदाधिकारियों को इन चार वर्ष में हासिल की गई उपलब्धियों के लिए बधाई दी। प्रधानमंत्री ने इसके साथ ही उन्हें और ज्यादा उत्साह एवं ऊर्जा के साथ सुधारों के लिए कार्य करने की सलाह भी दी। विश्व बैंक समूह के दक्षिण एशियाई उपाध्यक्ष हार्टविग शाफेर ने भी इस अवसर पर उपस्थित थे। उन्होंने भारत की व्यापक उपलब्धियों की सराहना की। उन्होंने कहा कि जैसे-जैसे किसी देश की रैंकिंग बेहतर होती है, वैसे-वैसे रैंकिंग को और ऊपर ले जाना अधिक कठिन होता जाता है। उन्होंने यह उम्मीद जताई कि भारत ने ‘कारोबार में और ज्यादा सुगमता’ सुनिश्चित करने से जुड़े अपने प्रयासों के तहत चार वर्ष में जो तेज़गति हासिल की है, वह आगे भी बनी रहेगी।
गौरतलब है कि विश्व बैंक की 31 अक्टूबर 2018 को जारी ‘कारोबार में सुगमता’ रिपोर्ट में भारत 23 पायदानों की ऊंची छलांग लगाकर वर्ष 2017 के 100वें पायदान से ऊपर चढ़कर 77वें पायदान पर पहुंच गया है। विश्व बैंक की इस रिपोर्ट में 190 देशों में कारोबारी माहौल का आकलन किया गया है। भारत सरकार के इस दिशा में निरंतर प्रयासों के परिणामस्वरूप भारत ‘कारोबार में सुगमता’ सूचकांक में दो वर्ष में 53 पायदान और चार वर्ष (2014-2018) में 65 पायदान ऊपर चढ़ चुका है। वित्तमंत्री अरुण जेटली, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री सुरेश प्रभु, पर्यावरण मंत्री डॉ हर्षवर्धन और आवास एवं शहरी मामलों के मंत्री हरदीप सिंह पुरी भी इस दौरान मौजूद थे।