स्वतंत्र आवाज़
word map

बच्चों को स्वस्थ व प्रसन्न बचपन दें-नायडू

सार्वजनिक व निजी स्वास्‍थ्य क्षेत्र से साझेदारी की अपील

उपराष्ट्रपति ने किया रेनबो शिशु अस्पताल का उद्घाटन

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Monday 3 December 2018 02:06:03 PM

venkaiah naidu inaugurating the rainbow children's hospital in chennai

चेन्नई। उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने कहा है कि निजी क्षेत्र को यह अवश्य सुनिश्चित करना चाहिए कि उनके द्वारा उपलब्ध कराया गया उपचार न केवल सुविधाजनक हो, बल्कि किफायती भी हो। उपराष्ट्रपति ने चेन्नई में रेनबो शिशु अस्पताल का उद्घाटन करते हुए उम्मीद जताई है कि अस्पतालों को बच्चों को न केवल विशिष्ट, बल्कि किफायती सुविधा भी उपलब्ध करानी चाहिए और यह सुनिश्चित करते हुए कि सभी नवजात शिशु जीवित रहें, उनका पर्याप्त विकास हो और वे नवीन भारत के एक स्वस्थ्य सक्रिय नागरिकों के रूपमें विकसित हों। उपराष्ट्रपति ने कहा कि निजी क्षेत्र के अस्पतालों को एक व्यापक राष्ट्रीय मिशन में भी योगदान देना चाहिए। किसी भी देश की शासन प्रणाली में स्वास्थ्य देखभाल के महत्व को रेखांकित करते हुए उन्होंने कहा कि बच्चों को स्वस्थ एवं प्रसन्न बचपन उपलब्ध कराना प्रत्येक भारतीय की जिम्मेदारी है।
उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा कि यह अवश्य नोट किया जाना चाहिए कि बचपन बाद के वर्षों में किसी व्यक्ति के समग्र शारीरिक, भावनात्मक एवं सामाजिक कल्याण में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। उपराष्ट्रपति ने कहा कि बचपन के अनुभव का अगाध प्रभाव पड़ता है और यह भविष्य के लिए बुनियाद का निर्माण करता है। उन्होंने कहा कि जिन बच्चों की पौषणिक और भावनात्मक रूपसे अच्छी देखभाल होती है, वे न केवल प्रसन्न होंगे, बल्कि स्वस्थ भी बने रहेंगे। भारत में शिशु मृत्यु दर के प्रमुख कारणों के रूपमें पूर्व परिपक्वता एवं निम्न जन्म वजन, निमोनिया एवं डायरिया पर चिंता जताते हुए उन्होंने सतत विकास लक्ष्यों को अर्जित करने के लिए ठोस तरीके से प्रयासों में गति लाने की जरूरत पर बल दिया। उपराष्ट्रपति ने कहा कि वर्ष 2030 तक 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चों की मृत्यु दर को प्रति हजार /25 तक लाने के संयुक्तराष्ट्र के सतत विकास लक्ष्य टारगेट को अर्जित करने के लिए नवजातों एवं 5 वर्ष के कम उम्र के बच्चों के लिए बचाव संबंधी तथा उपचारात्मक कदमों में बेहतरी लाने के लिए सार्वजनिक एवं निजी क्षेत्र दोनों की सहभागिता एवं सहयोग अनिवार्य है।
उपराष्ट्रपति ने निजी क्षेत्र से विशेष रूपसे देश के ग्रामीण एवं सुदूरवर्ती क्षेत्रों में आम लोगों के लिए स्वास्थ्य देखभाल को किफायती एवं सुविधाजनक बनाने में सरकार के साथ साझेदारी करने की अपील की। उन्होंने कहा कि निजी क्षेत्र को अपनी सीएसआर गतिविधियों के एक हिस्से के रूपमें केवल शहरी क्षेत्रों पर ही केंद्रित नहीं होना चाहिए, बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी स्वास्थ्य देखभाल सुविधाएं स्थापित करनी चाहिएं। वेंकैया नायडू ने कहा कि व्यक्तिगत स्तरपर स्वास्थ्य बीमा की मामूली पैठ परिवारों द्वारा अपनी जेब से अधिक खर्च करने की एक बड़ी वजह है। उन्होंने देश में जनसंख्या के स्वास्थ्य बीमा कवरेज को व्यापक रूपसे विस्तारित करने की आवश्यकता पर जोर दिया। इस अवसर पर तमिलनाडु के राज्यपाल बनवारी लाल पुरोहित, तमिलनाडु के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री सी विजय भास्कर, तमिलनाडु के मात्स्यिकी एवं मत्स्य विकास मंत्री डी जयकुमार, सांसद डॉ जे जयवर्द्धन एवं गणमान्य नागरिक भी उपस्थित थे।

हिन्दी या अंग्रेजी [भाषा बदलने के लिए प्रेस F12]