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Saturday 29 August 2020 01:45:33 PM
नई दिल्ली। भारत निर्वाचन आयोग ने अपने चुनाव आयुक्त अशोक लवासा को उनके रिटायर होने पर उन्हें गर्मजोशी से विदाई दी। अशोक लवासा अब फिलीपींस की राजधानी मनीला में एशियाई विकास बैंक के उपाध्यक्ष के रूपमें प्रतिष्ठित कार्यभार संभालेंगे। अशोक लवासा ने 23 जनवरी 2018 को निर्वाचन आयुक्त का कार्यभार संभाला था और 31 अगस्त 2020 को यह उनका कार्यकाल समाप्त हो जाएगा। मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने उन्हें विदाई देते हुए नई बड़ी चुनौतियों का सामना करने तथा और अधिक उपलब्धियां हासिल करने के लिए अशोक लवासा को शुभकामनाएं दीं। उन्होंने उल्लेख किया कि निर्वाचन आयोग का नुकसान एडीबी का लाभ है, जहां अशोक लवासा की योग्यता कोविड के बाद के परिदृश्य में अर्थव्यवस्थाओं के पुनर्गठन के चुनौतीपूर्ण कार्य के लिए बड़े बहुपक्षीय मंच पर उपलब्ध होगी।
चुनाव आयुक्त सुशील चंद्र ने अशोक लवासा के यहां से पूर्व वित्त मंत्रालय में काम की सराहना की। उन्होंने कोविड के समय में होने वाले चुनावों के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश तैयार करने में उनके मार्गदर्शन के लिए अशोक लवासा की विशेष रूपसे सराहना की। अशोक लवासा ने कहा कि वह एक यादगार अनुभव के रूपमें चुनाव आयोग में अपने ढाई साल के कार्यकाल को हमेशा याद करेंगे। उन्होंने स्वीकार किया कि उनके लिए यह चुनना काफी कठिन विकल्प था कि वे निर्वाचन आयोग में बने रहें या एडीबी के वैश्विक फलक की तरफ आगे बढ़ें। निर्वाचन आयोग ने अपना कार्यकाल पूरा करने के बाद अपने कैडर में वापस आने वाले चुनाव व्यय निदेशक विक्रम बत्रा को भी विदाई दी। इस अवसर पर उच्चतम न्यायालय और विभिन्न उच्च न्यायालयों के जनवरी 2017 से मई 2019 तक दिए गए फैसलों यानी 2019 के लोकसभा चुनाव की समाप्ति तक का एक सार-संग्रह, लैंडमार्क जजमेंट्स का छठा संस्करण भी जारी किया गया। चुनाव आयोग ने व्यापक पहुंच के लिए इसका ई-संस्करण भी https://eci.gov.in/ebooks/landmark-judgment/index.html जारी किया।
चुनाव आयोग के ई-संस्करण में निर्वाचन प्रक्रिया के विभिन्न पहलुओं जैसे नामांकन, शपथ पत्र, ईवीएम वीवीपेट, आदर्श आचार संहिता, भ्रष्ट आचरण और अन्य संबंधित मामलों के साथ 29 महत्वपूर्ण निर्णयों को शामिल किया गया है। संस्करण में लैंडमार्क जजमेंट्स के पांच संस्करणों में पहले भी प्रकाशित निर्णयों को भी सूचीबद्ध किया गया है। इसमें आम चुनाव 2019 के दौरान उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों में दायर 632 मामले भी सूचीबद्ध हैं। मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने कहा कि यह प्रकाशन हमें चुनाव कानून के क्षेत्र के बारे में बताएगा और इस आश्वासन के साथ इस विशाल कार्य को करने के लिए संबंधित अधिकारियों को प्रोत्साहित करेगा कि वास्तव में उनके कार्यों ने लगातार न्यायपालिका का समर्थन हासिल किया है। निर्वाचन आयुक्त अशोक लवासा ने कहा कि यह संस्करण हमारे देश के विशाल चुनाव संबंधी प्रयोगों को नियंत्रित करने वाले कानूनों की समझ को व्यापक बनाएगा। निर्वाचन आयुक्त सुशील चंद्रा ने कहा कि इस संस्करण से देश के सभी नागरिकों को चुनाव प्रक्रिया को समझने में मदद मिलेगी।