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Wednesday 30 March 2022 02:24:45 PM
नई दिल्ली। राष्ट्रीय महिला आयोग ने महिलाओं केलिए कानूनी सहायता को अधिक सुलभ बनाने के अभियान में दिल्ली राज्य विधिक सेवाएं प्राधिकरण के सहयोग से एक कानूनी सहायता क्लीनिक की शुरुआत कर दी है। यह क्लीनिक नि:शुल्क कानूनी सहायता देकर महिलाओं की शिकायतों का समाधान करने केलिए एकल-खिड़की सुविधा के रूपमें कार्य करेगी। राष्ट्रीय महिला आयोग अन्य राज्य महिला आयोगों में भी इसी प्रकार की कानूनी सेवाएं क्लीनिक स्थापित करने की योजना बना रहा है। कानूनी सहायता क्लीनिक नई दिल्ली में आयोग के कार्यालय में संचालित होगी, कोई भी महिला नि:शुल्क कानूनी सलाह और परामर्श की सुविधा प्राप्त करने केलिए इस क्लीनिक में आनेमें सक्षम होगी, जहां डीएसएलएसए के पैनल के एडवोकेट ऐसी महिलाओं की मदद करेंगे।
कानूनी सहायता क्लीनिक का शुभारंभ समारोह नई दिल्ली में आयोग के कार्यालय में हुआ, जिसमें आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा, अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सुशांत चंगोत्रा, डीएसएलएसए की अपर सचिव नमिता अग्रवाल, डीएसएलएसए के विशेष सचिव कंवल जीत अरोड़ा और डीएसएलएसए के सदस्य सचिव उपस्थित थे। महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहाकि इस कानूनी सहायता केंद्र का उद्देश्य महिलाओं को मुफ्त सलाह और कानूनी सेवाएं उपलब्ध कराना है। उन्होंने कहाकि यह महिलाओं की सहायता करने केलिए राष्ट्रीय महिला आयोग के सतत प्रयासों में नया अध्याय शुरू करता है, कानूनी सहायता क्लीनिक महिलाओं के अधिकारों की रक्षा करने और उन्हें कानूनी परामर्श एवं सहायता प्राप्त करने केलिए वन-स्टॉप केंद्र उपलब्ध कराने पर ध्यान केंद्रित करेगी।
महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहाकि महिलाएं अब बिना किसी परेशानी के कानूनी सहायता प्राप्त करने में समर्थ होंगी, नए कानूनी सहायता क्लीनिक केतहत वॉक-इन शिकायतकर्ताओं को परामर्श उपलब्ध कराया जाएगा और संकटग्रस्त महिलाओं को राष्ट्रीय विधिक सेवाएं प्राधिकरण/ दिल्ली राज्य विधिक सेवाएं प्राधिकरण की विभिन्न योजनाओं केबारे में परामर्श और जानकारी दी जाएगी। उन्होंने कहाकि अन्य सेवाओं में महिला जनसुनवाई में सहायता, मुफ्त कानूनी सहायता, वैवाहिक मामलों में सुनवाई और आयोग में पंजीकृत अन्य शिकायतों केबारे में सहायता प्रदान करना शामिल है।