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Friday 10 April 2015 05:53:47 PM
नई दिल्ली। नेपाल ने अपने यहां अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के विकास के लिए भारत से सहायता मांगी है। नेपाल के युवा मामले और खेल मंत्री पुरूषोत्तम पौडेल के नेतृत्व में नेपाली युवाओं के 50 सदस्यों वाले प्रतिनिधिमंडल ने इस दृष्टिकोण से भारत का दौरा भी किया है। नेपाली युवाओं के प्रतिनिधिमंडल का यह पहला दौरा भारत और नेपाल के बीच एक-दूसरे देश में युवाओं से युवाओं के बीच संपर्क कार्यक्रम का हिस्सा था। भारत में एक सप्ताह रूकने के दौरान नेपाली प्रतिनिधिमंडल ने दिल्ली में राजघाट, क्राफ्ट म्यूजियम, राष्ट्रीय संग्रहालय, दिल्ली मेट्रो, मेट्रो संग्रहालय, इंडिया गेट, जंतर-मंतर, कनॉट प्लेस, आगरा में ताजमहल और आगरा महाविद्यालय में राष्ट्रीय सेवा योजना कार्यक्रम, बंगलौर में आईआईएम, आईटी कंपनी, चिन्नास्वामी स्टेडियम और मैसूर में सिटी पैलेस, वृंदावन गार्डन आदि का दौरा किया।
नेपाल के युवा प्रतिनिधिमंडल के सम्मान में एक सांस्कृतिक कार्यक्रम और रात्रिभोज का भी आयोजन किया गया। सांस्कृतिक कार्यक्रम से पहले संबंधित प्रभारी मंत्रियों के नेतृत्व में दोनों पक्षों के वरिष्ठ अधिकारियों की एक बैठक भी आयोजित की गई। बैठक में युवा कार्य और खेल राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सर्वानंद सोनोवाल ने कहा कि भारत और नेपाल करीबी पड़ोसी हैं और मैत्री तथा सहयोग के एक बेजोड़ संबंध के साझेदार हैं, जिसे खुली सीमाओं और जन-जन के बीच गहरे संबंधों के रूप में देखा जा सकता है। उन्होंने कहा कि भारत को इस नेपाली युवा प्रतिनिधिमंडल की मेजबानी करके काफी अच्छा लगा, जिसमें नेपाल के विभिन्न युवा संगठनों के युवा प्रतिनिधि, युवा पत्रकार, युवा व्यवसायी और खिलाड़ियों के अलावा नेपाल सरकार के अधिकारी शामिल थे।
भारत के दौरे पर आए नेपाल के खेल मंत्री पुरूषोत्तम पौडेल ने भारत के खिलाड़ियों और विशेषकर क्रिकेट के खिलाड़ियों के एक दूसरे देश में आने-जाने के प्रति अपनी इच्छा व्यक्ति की। उन्होंने कहा कि नेपाल के क्रिकेट खिलाड़ियों को भारत की ओर से प्रशिक्षण प्रदान किया जा सकता है। इसके साथ ही उन्होंने नेपाल में क्रिकेट से जुड़ी सुविधाओं के विकास में भी सहायता की मांग की। सर्वानंद सोनोवाल ने नेपाल के खेल मंत्री को इस संबंध में भारत सरकार की ओर से हर संभव सहायता देने का आश्वासन दिया। नेपाल अपने यहां क्रिकेट को बढ़ावा देने के लिए बड़ी योजना पर कार्य कर रहा है। सार्क देशों में पाकिस्तान, श्रीलंका, बांग्लादेश और अफगानिस्तान अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट खेल रहे हैं, जबकि नेपाल और भूटान ही भारत के ऐसे पड़ौसी देश हैं, जहां अभी तक अंतर्राष्ट्रीय पेशेवर क्रिकेट नहीं खेला जाता है। ये दोनों देश भी अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण की ओर बढ़ रहे हैं।