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भारत के बहुपक्षीय संधिपत्र पर हस्ताक्षर

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नई दिल्ली। भारत ने कर संबंधी मामलों में पारस्परिक प्रशासकीय सहायता के संदर्भ में बहुपक्षीय समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के तहत राजस्व विभाग के विदेशी कर और कर अनुसंधान प्रभाग में संयुक्त सचिव संजय कुमार मिश्रा ने आर्थिक सहयोग और विकास संगठन (ओईसीडी) के उप महासचिव रिंतारो तमाकी की उपस्थिति में इस संधि पत्र पर हस्ताक्षर किए। पहले ओईसीडी और यूरोपीय परिषद के लिए उपलब्ध इस समझौते में 2010 में संशोधन किया गया और जून 2011 से सभी देशों के लिए इसे खोल दिया गया। सन् 2009 के जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान कर परिहार और कर चोरी का मुकाबला करने के लिए देशों के बीच सूचनाओं के प्रभावी आदान प्रदान के विस्तृत बहुपक्षीय दृष्टिकोण, कर आकलन और एकत्रीकरण के लिए देशों के बीच आपसी सहयोग का आह्वान किए जाने के मद्देनजर संधि पत्र में संशोधन किया गया था।
अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, बेल्जियम, ब्राजील, कनाडा, डेनमार्क, फिनलैंड, फ्रांस, जॉर्जिया, जर्मनी, आईलैंड, भारत, इंडोनेशिया, आयरलैंड, इटली, जापान, कोरिया, मेक्सिको, मोलदोवा, नीदरलैंड, नॉर्वे, पोलेंड, पुर्तगाल, रुस, स्लोवेनिया, दक्षिण अफ्रीका, स्पेन, स्वीडन, तुर्की, यूक्रेन, ब्रिटेन और अमेरिका ने वर्तमान में इस संधिपत्र पर अपने हस्ताक्षर किए हुए हैं। संधिपत्र पर हस्ताक्षर करके भारत और इस पर हस्ताक्षर करने वाले 31 अन्य देशों को भी इसमें सम्मिलित करने के लिए प्रोत्साहित करेंगे। इससे यह संदेश पहुंचेगा कि कई देश एकसाथ मिलकर काम कर रहे हैं, ताकि व्यक्ति और बहुराष्ट्रीय उद्यम सही मात्रा सही समय और सही जगह पर कर का भुगतान करे। भविष्य में अन्य देशों के भी इस पर हस्ताक्षर करने की आशा है।

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