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नई दिल्ली। रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन ने शुक्रवार को इंटसेप्टर मिसाइल का सफल परीक्षण किया। डीआरडीओ की वायु रक्षा मिसाइल एएडी-05 ने ओडिशा तट पर व्हीलर्स द्वीप के पास 15 किलोमीटर की ऊंचाई पर बैलिस्टिक मिसाइल का सफलतापूर्वक भेदन कर उसका ध्वंस कर दिया। सुबह दस बजकर दस मिनट पर आईटीआर चांदीपुर से उन्नत पृथ्वी मिसाइल सदृश बैलिस्टिक मिसाईल का प्रक्षेपण किया गया। विभिन्न स्थानों पर स्थित रडारों ने आती हुई बैलिस्टिक मिसाइल का पता लगा लिया। इंटरसेप्टर मिसाइल व्हीलर्स द्वीप से उड़ान भरने के लिए तैयार थी। कंप्यूटर लगातार बैलिस्टिक मिसाइल के प्रक्षेपपथ पर नजर रखे हुए थे और बिल्कुल नियत समय पर एएडी-05 का प्रक्षेपण किया गया, रेडियो फ्रीक्वेंसी से लक्ष्य मिसाइल की पहचान की गई जिन्होंने एएडी-05 इंटरसेप्टर मिसाइल को लक्ष्य मिसाइल के पास जाने का निर्देश दिया। इसके बाद एएडी-05 इंटरसेप्टर मिसाइल ने लक्ष्य मिसाइल पर सीधा आघात किया और उसका ध्वंस कर दिया। भारत विश्व का पांचवा ऐसा देश है जिसके पास बैलिस्टिक मिसाइल की सैन्य क्षमता है।
रक्षा मंत्री के वैज्ञानिक सलाहकार डॉ विजय कुमार सारस्वत ने इस समूचे परीक्षण और मिशन की समीक्षा की और साथ ही उन्होंने इस प्रक्षेपण का जायजा भी लिया। आर एंड डी (मिसाइलों) के मुख्य नियंत्रक अविनाश चंदर और डीआरडीएल के निदेशक पी वेणुगोपालन ने लक्ष्य मिसाइल और इंटरसेप्टर मिसाइल की उड़ान प्रक्रिया समीक्षा को अंजाम दिया। वायु सेना प्रणाली के कार्यक्रम निदेशक डीएस रेड्डी ने अपनी टीम सहित प्रक्षेपण की सफलता के लिए तैयारियां की। इस मिशन के दौरान आईटीआर निदेशक एसपी दाश, आरसीआई निदेशक डॉ एसके चौधरी और प्रमुख डीआरडीओ वैज्ञानिक भी उपस्थित थे और तीनो सैन्य बलों के वरिष्ठ अधिकारी भी इस मिशन के साक्षी बने। सैन्य बैलिस्टिक मिसाइल के सफल प्रदर्शन के लिए रक्षा मंत्री एके एंटनी ने सभी वैज्ञानिकों को बधाई दी।