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Tuesday 17 March 2020 12:13:48 PM
नई दिल्ली। भारत सरकार में मुख्य सूचना आयुक्त बिमल जुल्का ने केंद्रीय राज्यमंत्री डॉ जितेंद्र सिंह से मुलाकात की और उन्हें सूचना आयोग के कामकाज के बारे में जानकारी दी। बिमल जुल्का ने बताया कि हाल के वर्ष में सरकार के समर्थन के साथ-साथ आधुनिक तकनीक या पोर्टलों के बढ़ते इस्तेमाल से मामलों के निपटारे की दर में वृद्धि हुई है। बिमल जुल्का सूचना आयोग के लिए नोडल मंत्रालय कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग के प्रभारी भी हैं। वे 1979 बैच के भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी हैं। वे केंद्रीय सूचना प्रसारण मंत्रालय के सचिव के रूपमें 2015 में सेवानिवृत्त हुए थे। सेवानिवृत्ति के बाद उन्हें केंद्र में सूचना आयुक्त के रूपमें नियुक्त किया गया था और कुछ दिन पहले सुधीर भार्गव की सेवानिवृत्ति के बाद उन्हें मुख्य सूचना आयुक्त नियुक्त किया गया है।
मुख्य सूचना आयुक्त बिमल जुल्का ने राज्यमंत्री डॉ जितेंद्र सिंह को नवसृजित केंद्रशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर तथा लद्दाख को मुख्य सूचना आयुक्त के दायरे में शामिल करने के प्रयासों के बारे में जानकारी दी। डॉ जितेंद्र सिंह ने सूचना आयोग के कामकाज में सुधार के लिए नरेंद्र मोदी सरकार की ऐतिहासिक पहलों का जिक्र किया और साथ ही सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत दाखिल आवेदनों के शीघ्र निस्तारण के बारे में भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार के कार्यकाल में ही दिन-रात के किसी भी हिस्से में एवं देश-विदेश कहीं से भी सूचना का अधिकार की ई-फाइलिंग के लिए 24 घंटे की पोर्टल सेवा शुरु की गई है।
राज्यमंत्री डॉ जितेंद्र सिंह ने कहा कि एक महत्वपूर्ण बदलाव के तहत जम्मू-कश्मीर एवं लद्दाख के लिए जम्मू-कश्मीर के गैर अधिवास और गैर राज्य विषय भी अब केंद्र सरकार के मुद्दों से संबंधित आरटीआई दायर करने के लिए उपयुक्त होंगे। डॉ जितेंद्र सिंह ने मुख्य सूचना आयुक्त के कार्यालय को अपने विशेष कार्यालय परिसर में स्थानांतरित किए जाने की भी सराहना की। यह लगभग दो साल पहले तक किराए के भवन से संचालित होता था। उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार सरकारी क्रियाकलापों में नागरिकों की अधिकतम भागीदारी सहित पूर्ण पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है।