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Tuesday 13 October 2020 04:02:33 PM
नई दिल्ली। केंद्रीय गृह राज्यमंत्री जी किशन रेड्डी ने कहा है कि सरकार पीड़ितों को जल्द से जल्द न्याय दिलाने की दिशा में काम कर रही है और महिलाओं के प्रति अपराध समाप्त करना मोदी सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि अपराध और आतंकवाद के प्रति नरेंद्र मोदी सरकार की जीरो टालरेंस की नीति है, हमारी सरकार का लक्ष्य किसी जाति, धर्म और क्षेत्रीयता से परे अपराध का समूल नाश करना है, क्योंकि किसी भी तरह का अपराध मानवता के खिलाफ ही होता है। जी किशन रेड्डी आज राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो की 21वीं ऑल इंडिया कॉंफ्रेंस ऑफ डायरेक्टर्स फिंगरप्रिंट ब्यूरो-2020 के ऑनलाइन उद्घाटन में बोल रहे थे।
गृह राज्यमंत्री ने कहा कि वैसे तो अपराध पर नियंत्रण राज्यों का विषय है, किंतु प्रभावी नियंत्रण एवं पुलिस फोर्स को आधुनिक बनाने के लिए केंद्र सरकार उनका पूरा मार्गदर्शन कर रही है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने पुलिस के आधुनिकीकरण की दिशा में बहुत काम किया है और मॉडर्नाइजेशन को प्राथमिकता देते हुए 2019-20 के बजट में बढ़ोतरी करके 780 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। जी किशन रेड्डी ने कहा कि क्राइम ट्रैकिंग की दिशा में फिंगरप्रिंट की अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका होती है, अंगुलियों की छाप से जांच में बहुत मदद मिलती है और यह एक अत्यंत महत्वपूर्ण टूल है। गृह राज्यमंत्री ने कहा कि अंगुलियों की छाप एक क्राइम सीन को दूसरे से जोड़ने के साथ यह भी बताती है कि क्या उसमें एक या एक से अधिक व्यक्तियों की भागीदारी रही? फिंगरप्रिंट से अपराध करने वाले के क्राइम रिकॉर्ड का भी पता चलता है।
गृह राज्यमंत्री ने कहा की डिजिटलाइजेसन होने तथा नेशनल आटोमेटेड फिंगरप्रिंट सिस्टम एक्टिव होने से अपराध नियंत्रित करने में और अधिक सफलता प्राप्त होगी। उन्होंने कहा कि अक्टूबर माह राष्ट्रीय साइबर अपराध जागरुकता माह के रूपमें मनाया जाता है और इस महीने में ई-साइबर लैब का उद्घाटन होना खुशी की बात है। उन्होंने कहा कि यह कॉंफ्रेंस फिंगरप्रिंट से अपराध को रोकने की दिशा में अत्यंत महत्वपूर्ण साबित होगी और हम अपराध मुक्त एक बेहतर समाज के निर्माण की दिशा में आगे बढ़ेंगे। राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो के निदेशक रामफल पंवार ने कहा कि नेशनल आटोमेटेड फिंगर प्रिंट सिस्टम एक गेम चेंजर साबित होगा, इसके माध्यम से अपराध जांच में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि सभी राज्यों और यूनियन टेरटरीस में नेशनल आटोमेटेड फिंगरप्रिंट सिस्टम का प्रयोग किया जाएगा। वीडियो कांफ्रेंसिंग से गृह मंत्रालय के शीर्ष अधिकारी, केंद्र व राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी एवं राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो के गुजरात, राजस्थान और मध्य प्रदेश में प्रशिक्षण संस्थानों के अधिकारी भी शामिल हुए।