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Thursday 31 March 2022 03:23:46 PM
जैसलमेर। न्याय विभाग ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबका साथ, सबका विकास और सबको न्याय के दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए एक नई वेबसाइट का शुभारंभ किया है, ताकि न्याय विभाग की सभी डिजिटल पहल केलिए नागरिकों को एक प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराया जा सके। केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्री किरेन रिजिजू ने जैसलमेर भवन में एक कार्यक्रम में नई वेबसाइट का शुभारंभ किया। वेबसाइट को एस3डब्ल्यूएएएस प्लेटफॉर्म (सिक्योर, स्केलेबल एंड सुगम्य वेबसाइट एज अ सर्विस) पर लॉंच किया गया है। सरकारी वेबसाइटों केलिए दिशानिर्देश अनुपालन वाले टेम्प्लेट का उपयोग करके सुरक्षित वेबसाइट बनाने केलिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठाया गया है। इसे काफी कस्टमाइज किया जा सकता है और इसे एक स्केलेबल सॉफ्टवेयर डिफाइंड इंफ्रास्ट्रक्चर पर निर्बाध तरीके से तैनात किया जा सकता है।
वेबसाइट को अब उपयोगकर्ताओं केलिए कहीं अधिक अनुकूल बना दिया गया है। इसे आसानी से संपादित किया जा सकता है और यह एकरूपता लाने की ओर उठाया गया एक कदम है। इस प्रकार पारदर्शिता, पहुंच और जनता केलिए सूचना का निर्बाध प्रसार सुनिश्चित करना और दरवाजे पर सेवाओं की डिलिवरी की दिशा में उठाया गया एक बड़ा कदम है। नई वेबसाइट इंटरैक्टिव है और नागरिक केंद्रित सेवाओं तक बेहतर पहुंच प्रदान करती है। अब गुजरात, ओडिशा, कर्नाटक, झारखंड, पटना एवं मध्य प्रदेश के उच्च न्यायालयों की अदालती कार्यवाही की लाइव स्ट्रीमिंग यहां देखी जा सकती है, उच्च न्यायालयों के निर्णय और आदेश आसानी से देखे जा सकते हैं, सीएनआर नंबर का उपयोग करके मामले की स्थिति देखी जा सकती है, यातायात उल्लंघनों का निपटारा किया जा सकता है और एनजेडीजी के जरिये देश के सभी कम्प्यूटरीकृत जिला एवं अधीनस्थ अदालतों की न्यायिक कार्यवाही या निर्णय से संबंधित रियलटाइम डेटा तक पहुंचा जा सकता है।
ई-कोर्ट मिशन मोड प्रोजेक्ट, न्यायाधीशों की नियुक्ति, फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट, न्याय बंधु, ग्राम न्यायालय, दिशा योजना, टेली लॉ आदि से संबंधित सभी जानकारी यहां उपलब्ध कराई गई है, क्योंकि मंत्रालय पोर्टल को न्याय विभाग के प्रयासों से संबंधित सूचनाओं केलिए एकल स्रोत के रूपमें स्थापित करना चाहता है। उपयोगकर्ता के दृष्टिकोण से डिजाइन की गई यह वेबसाइट दिव्यांगों के अनुकूल है और यह समाज के सभी वर्गों को समायोजित करने केलिए एक समावेशी मंच प्रदान करती है। भविष्य में कानून मंत्रालय की योजना वरिष्ठ अधिकारियों केसाथ एक डिजिटल टाउन हॉल स्थापित करने, एफएक्यू का जवाब देने केलिए लाइव चैट बोट, देश के मिजाज का आकलन करने केलिए सर्वेक्षण एवं विभिन्न विषयों पर पूछे जानेवाले प्रश्न, सुझाव, फीडबैक, शिकायतों केलिए संवाद मंच आदि स्थापित करने का है।