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उड़ान योजना को मिलेगा प्रधानमंत्री पुरस्कार

सिविल सेवा दिवस पर 21 अप्रैल को किया जाएगा पुरस्कृत

सुशासन उपलब्धियों और अंतिम मील तक संपर्क पर जोर

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Saturday 16 April 2022 06:10:20 PM

prime minister's award for udaan yojana

नई दिल्ली। नागरिक विमानन मंत्रालय की प्रमुख क्षेत्रीय संपर्क योजना उड़ान (उड़े देश का आम नागरिक) को नवाचार-केंद्रीय श्रेणी केतहत लोक प्रशासन 2020 में उत्कृष्टता हेतु प्रधानमंत्री पुरस्कार केलिए चुना गया है। गौरतलब हैकि भारत सरकार ने राज्य एवं सरकार के जिलों और संगठनों के असाधारण और अभिनव कार्यों को स्वीकार करने, उन्हें पहचानने और प्रोत्साहित करने केलिए यह पुरस्कार शुरू किया है। उड़ान योजना में मात्रात्मक लक्ष्यों की उपलब्धि के अलावा सुशासन गुणात्मक उपलब्धियों और अंतिम मील तक संपर्क पर जोर दिया गया है। पुरस्कार में एक ट्रॉफी, पट्टिका और 10 लाख रुपये का प्रोत्साहन शामिल है। नागरिक विमानन मंत्रालय की झांकी को गणतंत्र दिवस 2022 केलिए सर्वश्रेष्ठ केंद्रीय मंत्रालय की झांकी के रूपमें भी नामित किया जा चुका है, झांकी में क्षेत्रीय संपर्क योजना उड़ान को अपने मुख्य विषय के रूपमें प्रदर्शित किया था।
नागरिक विमानन मंत्रालय 21 अप्रैल को सिविल सेवा दिवस पर यह पुरस्कार प्राप्त करेगा। भारत सरकार सिविल सेवा दिवस पर विज्ञान भवन में एक विशेष कार्यक्रम में नागरिक विमानन मंत्रालय के प्रतिनिधि को पुरस्कार प्रदान करेगी। वर्ष 2016 में प्रारंभ की गई उड़ान योजना का उद्देश्य उड़े देश का आम नागरिक की अवधारणा का पालन करते हुए टियर II और III शहरों में एक उन्नत विमानन बुनियादी ढांचे और हवाई संपर्क केसाथ आम आदमी की आकांक्षाओं को पूरा करना है। पांच वर्ष की छोटीसी अवधि में आज 415 उड़ान मार्ग 66 अंडरसर्व्ड/ अनसर्व्ड हवाई अड्डों को जोड़ते हैं, जिसमें हेलीपोर्ट और वाटर एयरोड्रोम शामिल हैं। इससे 92 लाख से अधिक लोग लाभांवित हुए हैं। इस योजना केतहत 1 लाख 79 हजार से अधिक उड़ानें संचालित की गई हैं। उड़ान योजना ने पहाड़ी राज्यों, उत्तर-पूर्वी क्षेत्र और द्वीपों सहित भारत के कई क्षेत्रों को अत्यधिक लाभांवित किया है।
उड़ान योजना का देश की अर्थव्यवस्था पर सकारात्मक प्रभाव पड़ा है और उद्योग हितधारकों विशेषकर एयरलाइंस संचालकों और राज्य सरकारों से उत्कृष्ट प्रतिक्रिया मिली हैं। योजना केतहत 350 से अधिक नए शहरों को जोड़ने की योजना है, जबकि 200 शहर पहलेसे जुड़े हुए हैं और यह भौगोलिक रूपसे देशभर में व्यापक रूपसे फैले हुए हैं, साथही योजना के माध्यम से संतुलित क्षेत्रीय विकास को सुनिश्चित किया जा रहा है, जिसके परिणामस्वरूप आर्थिक विकास और स्थानीय लोगों को रोज़गार मिलता है। योजना से सिक्किम में गंगटोक के पास पाकयोंग, अरुणाचल प्रदेश में तेजू और आंध्र प्रदेश में कुरनूल जैसे नए हरित क्षेत्र हवाई अड्डों का विकास हुआ। उड़ान योजना से गैर-मेट्रो हवाई अड्डों के घरेलू यात्री हिस्से में 5 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। नागरिक विमानन मंत्रालय वर्ष 2024 तक उड़ान आरसीएस योजना के तहत 1,000 नए मार्गों केसाथ भारत में 2024 तक 100 नए हवाई अड्डों का निर्माण करने की योजना बना रहा है।

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