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सीआरपीएफ में कांस्टेबल केलिए 8वीं पास मंजूर

गृह मंत्रालय की छत्तीसगढ़ के बीजापुर दंतेवाड़ा सुकमा केलिए मंजूरी

पिछड़े क्षेत्रों के जनजातीय युवाओं को प्राप्त होंगे रोज़गार के अवसर

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Thursday 2 June 2022 12:58:19 PM

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नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने दक्षिण छत्तीसगढ़ के 3 जिले बीजापुर, दंतेवाड़ा और सुकमा से सीआरपीएफ में कांस्टेबल (सामान्य ड्यूटी) के रूपमें 400 उम्मीदवारों की भर्ती केलिए आवश्यक न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता को 10वीं पास से कम करके 8वीं कक्षा पास संबंधी गृह मंत्रालय के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। स्थानीय समाचार पत्रों में विज्ञापन जारी करने और इन तीन जिलों के आंतरिक क्षेत्रों में इस रैली के व्यापक प्रचार केलिए सभी साधनों को अपनाने के अलावा सीआरपीएफ बाद में इन नए भर्ती प्रशिक्षुओं को परिवीक्षा अवधि के दौरान औपचारिक शिक्षा प्रदान करेगा।
छत्तीसगढ़ के तीन जिलों बीजापुर, दंतेवाड़ा और सुकमा के आंतरिक क्षेत्रों के 400 जनजातीय युवाओं को रोज़गार के अवसर प्राप्त होंगे। गृह मंत्रालय भर्ती केलिए शारीरिक मानकों में भी उचित छूट देगा। गौरतलब हैकि सीआरपीएफ केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों में से एक है, जो मूल रूपसे कानून और व्यवस्था बनाए रखने, विद्रोह से निपटने और आंतरिक सुरक्षा कायम रखने जैसे कार्यों केलिए है। सीआरपीएफ ने छत्तीसगढ़ के अपेक्षाकृत पिछड़े क्षेत्रों से 400 मूल जनजातीय युवाओं को कांस्टेबल (सामान्य ड्यूटी) के रूपमें भर्ती करने का प्रस्ताव रखा है। दसवीं पास की निर्धारित न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता प्राप्त करने के बादही उन्हें सेवा में स्थायी पद दिया जाएगा, इस प्रकार इन प्रशिक्षुओं को औपचारिक शिक्षा दी जाएगी और सीआरपीएफ उनकी परिवीक्षा अवधि के दौरान अध्ययन सामग्री, किताबें तथा कोचिंग सहायता प्रदान करने जैसी हर संभव मदद करेगा।
सीआरपीएफ में कांस्टेबल केलिए निर्धारित शैक्षणिक योग्यता हासिल करने में नए प्रशिक्षुओं की सुविधा केलिए यदि आवश्यक हो तो अवधि में विस्तार भी किया जा सकता है। उन्हें 10वीं कक्षा की परीक्षा देने की सुविधा केलिए इन भर्तियों का पंजीकरण केंद्र व राज्य सरकार के मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय मुक्त विद्यालय संस्थान में कराया जाएगा। सीआरपीएफ ने 2016-2017 के दौरान छत्तीसगढ़ के चार जिलों बीजापुर, दंतेवाड़ा, नारायणपुर और सुकमा से अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवारों की भर्ती करके एक बस्तरिया बटालियन का गठन किया था। हालांकि यह इष्टतम परिणाम नहीं दे सकी, क्योंकि आंतरिक क्षेत्रों के मूल युवा अपेक्षित शैक्षणिक योग्यता यानी 10वीं पास न करने के कारण भर्ती प्रक्रिया में प्रतिस्पर्धा नहीं कर पाए।

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