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Saturday 5 October 2013 09:02:04 AM
नई दिल्ली। बांग्लादेश में भेरामारा में भारत-बांग्लादेश ग्रिड इंटर कनेक्शन का नई दिल्ली से वीडियो-कांफ्रेंसिंग के जरिए उद्घाटन करने के अवसर पर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा है कि बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना की जनवरी 2010 में ऐतिहासिक भारत यात्रा के दौरान हमने जो शुरुआत की थी, वह आज एक वास्तविकता बन गई है। भेरामारा में ट्रांसमिशन लाइन और एचवीडीसी स्टेशन दोनों देशों के पावर ग्रिडों को एक सुरक्षित और भरोसेमंद इंटर कनेक्शन प्रदान करता है, जिससे भारत, बांग्लादेश को 500 मेगावाट बिजली की आपूर्ति कर सकेगा, यह हमारे लोगों की साझा इच्छाओं का ठोस नतीजा है। उन्होंने बांग्लादेश की जनता को इस असाधारण उपलब्धि पर बधाई दी और अपने मंत्रिमंडलीय सहयोगियों, तकनीकी कार्मिकों और केंद्र सरकार और पश्चिम बंगाल सरकार के अधिकारियों का भी आभार प्रकट किया, जिन्होंने दक्षिण एशिया में इस ऐतिहासिक परियोजना को इतने कम समय में अमली जामा पहनाया है।
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा कि आज हम 1320 मेगावाट क्षमता की मैत्री ताप बिजली परियोजना की आधारशिला भी रख रहे हैं, जिसे बांग्लादेश-भारत मैत्री बिजली कंपनी द्वारा विकसित किया जा रहा है, यह भारत की एनटीपीसी लिमिटेड और बांग्लादेश पावर डेवेलपमेंट बोर्ड का साझा उद्यम है। उन्होंने कहा कि मैं इस परियोजना के प्रति शुभकामनाएं व्यक्त करता हूं और परियोजना प्राधिकारियों का आह्वान करता हूं कि वे इसके कार्यान्वयन में पर्यावरण के सर्वोच्च मानदंडों का पालन करें, क्योंकि सुंदरबन हमारी साझा विरासत है। उन्होंने कहा कि भारत और बांग्लादेश की मित्रता को सुदृढ़ करने के लिए आज जो उपाय किए जा रहे हैं, उनसे हमारे द्विपक्षीय संबंधों में एक नया अध्याय जुड़ गया है, आर्थिक विकास दक्षिण एशिया के सभी देशों के समक्ष सबसे बड़ी चुनौती है, हम सबकी नियति परस्पर संबद्ध है, इसलिए हमारी अर्थव्यवस्थाएं भी एक दूसरे से जुड़ी हुई होनी चाहिएं। उन्होंने कहा कि मैं मानता हूं कि प्रधानमंत्री शेख हसीना भी मेरे इस विश्वास से सहमत होंगी कि क्षेत्र के देशों के बीच साझा समृद्धि के लिए भागीदारी के जरिए दक्षिण एशिया में आर्थिक विकास की संभावनाएं बढ़ाई जा सकती हैं।
मनमोहन सिंह ने कहा कि साझा खुशहाली की कुंजी हमारे क्षेत्र में व्यापार और निवेश में बढ़ोतरी और परिवहन, सड़क, रेल, दूर संचार, साइबर और ऊर्जा जैसे संपर्कों के माध्यम से संचार व्यवस्था में सुधार में निहित है, आज हमने जिस ग्रिड व्यवस्था का उद्घाटन किया है, उससे दोनों देशों के बीच महत्वपूर्ण मील का पत्थर कायम हुआ है, इसके जरिए सीमा पार ऊर्जा संपर्क और व्यापार का एक केंद्र कायम किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री शेख हसीना के विशिष्ट नेतृत्व में बांग्लादेश ने ऊर्जा सुरक्षा क्षेत्र सहित जो महत्वपूर्ण प्रगति की है, हम उसकी सराहना करते हैं। बांग्लादेश दक्षिण एशिया में सर्वाधिक तेजी से उभर रही अर्थव्यवस्थाओं में से एक है और सहस्राब्दि विकास लक्ष्यों को हासिल करने में उसकी उपलब्धियां दुनिया के अन्य देशों के लिए अनुकरणीय हैं, भारत एक मजबूत और खुशहाल बांग्लादेश की कामना करता है और मैं भरोसा दिलाना चाहता हूं कि भारत, बांग्लादेश के विकास के प्रयासों में एक सुदृढ़ और दीर्घावधि का भागीदार होगा।
उन्होंने कहा कि भारत और बांग्लादेश के लोग हमेशा से अच्छे पड़ोसी रहे हैं, हाल के वर्षों में हमने यह महसूस किया है कि समानता, सार्वभौमिकता और परस्पर समृद्धि के सिद्धांतों पर आधारित हमारे संबंधों में आर्थिक विकास की असीमित संभावनाएं हैं, जिनका दोहन आपसी सहयोग के प्रयासों से किया जा सकता है, उम्मीद है कि भविष्य में ऊर्जा और संबंधों के अन्य आयामों में सहयोग और घनिष्ठ होगा।