Friday 21 December 2012 01:48:20 AM
वृंदा गांधी
बच्चों! आज आपने कोई सपना देखा? जैसे कोई राजा बना हो या राजकुमार या कोई हवाई जहाज में उड़ा तो कोई चांद-सितारों पर पहुंचा। एक मजेदार सपना इन्होंने भी देखा। भीलपुरा नामक एक गांव में तीन चतुर और समझदार मित्र रहते थे। एक दिन उनमे से एक ने कहा कि क्यों न कुछ दिन के लिए देशाटन पर चलें। उसके दोनों मित्रों को सुझाव पसंद आया और एक दिन तीनों मित्र अपना सामान बांधकरदेशाटन पर रवाना हो गए। रास्ते में एक हलवाई की दुकान पर विभिन्न मिठाईयां देखते ही उनके मुंह में पानी भर आया। एक मित्र दुकान पर गया और उसे पांच रूपए में चार बर्फियां मिलीं। एक-एक टुकड़ा तीनों दोस्तों ने खा लिया और बाकी बचा टुकड़ा एक दोस्त ने अपने पास रख लिया। इस एक टुकड़े पर भी तीनों मित्रों की नज़र थी। इसे हासिल करने के लिए तीनों ने अपनी बुद्धि लड़ाई। उनमें से एक कहने लगा की इस टुकड़े का निर्णय हम आराम से लेंगे और इसके लिए कोई शर्त रखेंगे। बाकी दोनों मित्र इसके लिए तैयार हो गए। रात गुजारने के लिए वे एक धर्मशाला में गए। खाना खाकर चौसर खेलने बैठ गए। अचानक एक मित्र ने कहा बर्फी का टुकड़ा तो खाना भूल ही गए? एक चतुर ने चाल चली कि तीनों मित्र सुबह उठकर अपना-अपना अनोखा सपना सुनाएंगे जिस पर हम सभी को विश्वास करना होगा। इसमें जो जीत जाएगा बर्फी का टुकड़ा भी उसी का होगा। सुबह उठकर एक ने अपना स्वप्न सुनाया कि मैं इस विशाल राज्य का राजा बन गया हूं और एक सुंदर राजकुमारी से मेरा विवाहहो गया है। मैं अपनी रानी के साथ भांति-भांति के व्यंजन खा ही रहा था कि तुमने उठा दिया। दूसरे ने सुनाया कि चांदसे सोने की सीढ़ियांउतररही हैं और मेरे देखते ही देखते एक देवदूत आकर मुझे चांद ले गया जहां सुंदर नर्तकियांनाच-गा रही थीं। मैं पूरी रात आनंद लेने के बाद चांद से सुंदर पोशाक और धन ले कर पृथ्वी पर आ गया। तीसरे ने सुनाया कि न तो मैं किसी देश का राजा बना और ना ही चांद पर गया। रात के मध्य पहर में मुझे बहुत तेज भूख लगी। तभी एक आवाज़ आई कि मुझे खा जाओ! मैंने देखा तो यह आवाज़ उस एक बर्फी के टुकड़े से आ रही थी और मैने वह टुकड़ा खा लिया। उसने कहा कि मेरा सपना बिल्कुल सच्चा है चाहो तो देख लो! दोनों मित्रों ने जाकर डिब्बा खोला तो वह खाली था। बाकी दोनों मित्र सपनों में ही रह गए और एक मित्र ने सपने को सच कर दिखाया। इसलिए बच्चों! किसी वस्तु को या किसी लक्ष्य को हासिल करने के लिए योजना और वाक चातुर्य की आवश्यकता होती है। इसी से आप सफलता प्राप्त करते हैं।