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Tuesday 23 May 2017 01:52:00 AM
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानपरिषद में राज्यपाल राम नाईक के अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर अपने वे सभी संकल्प दोहराए हैं, जो उन्होंने विधानसभा मंडप में व्यक्त किए थे। विधानपरिषद में योगी सरकार का बहुमत नहीं है, तथापि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और नेता सदन डॉ दिनेश शर्मा ने सपा के अधिकांश सदस्यों वाली विधानपरिषद में सपा सरकार की नीतियों की जमकर कलई खोली। योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि उनकी सरकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘सबका साथ-सबका विकास’ की अवधारणा पर चल रही है। उन्होंने कहा कि दो महीने के उनकी सरकार के कार्यकाल का तुलनात्मक अध्ययन किया जाए तो पिछली सरकारों के कार्यकाल के मुकाबले यह दो महीने हर मुद्दे पर भारी पड़ेंगे, इसमें किसी को संदेह नहीं होना चाहिए कि यह सरकार जनविश्वास पर खरी है, आम जनता के विकास के कार्यों को अंजाम दे रही है, किसी के साथ किसी भी प्रकार का भेदभाव नहीं हो रहा है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उन्हें विरासत में उत्तर प्रदेश की जर्जर व्यवस्था मिली है, जिसके लिए पूर्ववर्ती सरकारें जिम्मेदार हैं। उन्होंने कई मुद्दे उठाए और विपक्ष को निरुत्तर किया। सदन में पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव भी मौजूद थे। परिषद में नेता प्रतिपक्ष अहमद हसन ने राज्यपाल के अभिभाषण पर संक्षेप में तथ्य रखते हुए आरोप लगाया कि इस सरकार को समाजवाद से चिढ़ है, जिससे उसने समाजवाद के नाम पर विभिन्न योजनाओं को बंद कर दिया है, जबकि उसका नारा सबका साथ और सबका विकास है। उन्होंने अखिलेश यादव को बोलने का अवसर दिया, जिन्होंने योगी सरकार के कई फैसलों पर उंगली उठाई और देरतक योगी सरकार के फैसलों का आलोचनात्मक एवं व्यंग्यात्मक विश्लेषण करते रहे। अखिलेश यादव ने कहा कि समाजवादी सरकार ने राज्य के विकास में बहुत काम किया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अभिभाषण से जुड़ी योजनाओं और फैसलों का सिलसिलेवार उल्लेख किया। उन्होंने विधानसभा में व्यक्त किए गए प्रत्येक संकल्प का विधानपरिषद में भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि किसानों की आत्मनिर्भरता और उनकी खुशहाली के लिए सरकार ने पहली कैबिनेट बैठक में लघु और सीमांत किसानों के 31 मार्च 2016 तक के फसली ऋण को 1 लाख रुपए की सीमा तक माफ करने का निर्णय लिया, जिससे 36 हजार करोड़ रुपए का अतिरिक्त बोझ पड़ा, जिसे राज्य सरकार अनावश्यक खर्चों को कम करके पूरा करेगी, किसानों से गेहूं क्रय किया जा रहा है, अब तक करीब ढाई गुना अधिक गेहूं की खरीद की गई है, किसानों का भुगतान उनके खाते में सीधे आरटीजीएस से भेजा जा रहा है, किसानों को समर्थन मूल्य से 10 रुपए ज्यादा का भुगतान हो रहा है, किसान खुश हैं। उन्होंने बताया कि गन्ना किसानों का भुगतान 22 हजार करोड़ रुपए तक हो चुका है, तीन हजार करोड़ रुपए का भुगतान अभी बकाया है, जिसे देने का प्रयास राज्य सरकार कर रही है।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पिछली सरकारों ने किसानों के हित को कोई तरजीह नहीं दी, किसानों को बीज और खाद के लिए परेशान होना पड़ता था। उन्होंने कहा कि स्वॉयल टेस्टिंग के लिए लैब और किसानों के लिए किसान क्रेडिट कार्ड जारी किए जाने की कार्रवाई पहले नहीं हो रही थी, लेकिन राज्य सरकार ने इस पर कार्रवाई प्रारम्भ कर दी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के कृषि विकास केंद्र जर्जर हालत में थे, जिनको सुदृढ़ करने के लिए राज्य सरकार दृढ़ संकल्पित है, कृषि वैज्ञानिकों को स्वायत्तता दी गई है, 20 नए कृषि विज्ञान केंद्र खोले जा रहे हैं, जिसके लिए भूमि भी आवंटित कर दी गई है। उन्होंने कहा कि सरकार ने ई-टेंडरिंग से विकास का कार्य शुरू किया है, जिससे प्रदेश का राजस्व 10 गुना ज्यादा बढ़ जाएगा, नई खनन नीति लाई जा रही है, जीडीपी में बढ़ोत्तरी के लिए सरकार प्रयासरत है और प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि कैसे हो, इसपर गम्भीर रूपसे विचार किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार को विरासत में सवा लाख किलोमीटर गड्ढायुक्त सड़कें प्राप्त हुई हैं, जिन्हें 15 जून 2017 तक गड्ढामुक्त करने का राज्य सरकार का संकल्प है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में वीआईपी संस्कृति को खत्म किया गया है, पहले केवल 5 जिलों को बिजली मिलती थी, मगर डॉ भीमराव अम्बेडकर के जन्म पर ‘पावर फॉर ऑल’ सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए गए हैं, प्रदेश के 75 जिलों के जिला मुख्यालयों को 24 घंटे, तहसील मुख्यालयों को 20 घंटे और ग्रामीण क्षेत्र को 18 घंटे बिजली दी जा रही है। उन्होंने कहा कि दिव्यांगों की पेंशन 300 रुपए से बढ़ाकर 500 रुपए की गई है, उनको स्वावलम्बी और आत्मनिर्भर बनाने का काम भी किया जा रहा है। योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाओं की चर्चा करते हुए कहा कि प्राथमिक एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों तथा जिला चिकित्सालयों की स्थिति में सुधार लाने की पहल की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि इंसेफेलाइटिस प्रभावित 38 जिलों में इंसेफेलाइटिस वैक्सिनेशन का कार्य प्रारम्भ हो रहा है, जो 25 मई से लेकर 10 जून 2017 तक चलेगा।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि एक्यूट इंसेफेलाइटिस के दृष्टिगत स्वच्छता व स्वच्छ पेयजल की व्यवस्थाएं की गई हैं, महिलाओं और बेटियों की सुरक्षा को देखते हुए एंटी रोमियो स्क्वायड का गठन किया गया है, अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है। उन्होंने कहा कि पुलिस का व्यवहार जनता के प्रति दोस्ताना हो और अपराधियों को संरक्षण देने वालों के साथ कठोरता से निपटा जाए, इस तरह की कार्रवाई पूरे प्रदेश में प्रारम्भ हो गई है। उन्होंने कहा कि एनजीटी और सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइंस को पूर्व सरकारों ने लागू करने में ढिलाई और कोताही बरती है, लेकिन वर्तमान सरकार ने 24 घंटे के अंदर अवैध बूचड़खानों को बंद करने का संकल्प लिया और उन्हें बंद भी करा दिया। उन्होंने कहा कि प्रदेश में पशु माफिया, खनन माफिया, वन माफिया और संगठित गिरोह का संचालन करने वाले माफियाओं को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूपसे राजनीतिक संरक्षण मिलता रहा है, सरकार ने तय किया है कि प्रदेश माफियामुक्त, गुण्डामुक्त और भ्रष्टाचारमुक्त होगा, राज्य सरकार ने एंटी भू-माफिया टास्क फोर्स का गठन किया है, सरकारी जमीनों पर अवैध कब्जों को हटाया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान में लोगों की सहभागिता सुनिश्चित की जा रही है, ग्रामीण अंचलों, कार्यालयों, विद्यालयों, चिकित्सालयों, सरकारी भवनों, महाविद्यालयों आदि पर स्वच्छ भारत अभियान लागू होगा, स्वच्छ वातावरण उपलब्ध कराए जाने की व्यवस्था की जा रही है, सरकारी कार्यालयों में पान, बीड़ी, सिगरेट, गुटखा आदि पर पूर्णतः प्रतिबंध लगेगा, गंगा किनारे के 1685 गांवों को मई माह के अंदर पूर्णतः खुले में शौच से मुक्त किए जाने की व्यवस्था की जा रही है। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था में आमूलचूल परिवर्तन करने की दिशा में कार्य शुरू कर दिया गया है, प्राइमरी स्कूलों में बच्चों की यूनीफॉर्म में परिवर्तन किया गया है, स्कूली बच्चों को यूनीफॉर्म, जूता, मोजा, थैला उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि उच्चशिक्षा में एक समान पाठ्यक्रम की दिशा में कार्रवाई की जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि नई आबकारी नीति लाई जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार शिक्षण संस्थाओं, चिकित्सालयों, बस्ती, धर्म स्थलों और सार्वजनिक स्थानों पर शराब की दुकान नहीं खोलने देगी, इसमें सुप्रीम कोर्ट के निर्देश का पालन किया जा रहा है।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश में रैपिड रेल चालू की जाएगी, जिसकी लागत 32 लाख करोड़ रुपए होगी, दिल्ली-मेरठ रूट पर इसे 100 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से चलाने का रोड मैप तैयार हो चुका है, साथ ही मेट्रो रेल भी चलाई जाएगी, पांच वर्ष के अंदर कई शहरों को मेट्रो के साथ जोड़ने का कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बुंदेलखंड, गोरखपुर, वाराणसी और कानपुर का भी डीपीआर बन चुका है और भी अन्य महानगर उसमें जुड़ेंगे। उन्होंने कहा कि लखनऊ में मेट्रो रेल के उद्घाटन के बावजूद चलने लायक स्थिति का न होना अफसोसजनक है, ऐसे उद्घाटनों से बचा जाना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे बनाने की योजना शुरू की जा रही है, बुंदेलखंड में व्यापक लैंड बैंक बनाकर वहां का औद्योगिकीकरण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रयाग में वर्ष 2019 में होने वाले अर्द्धकुम्भ की तैयारियां शुरू हो गई हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि सहकारी क्षेत्र की पुरानी चीनी मिलों के आधुनिकीकरण और विस्तारीकरण की योजना भी बन रही है, नई औद्योगिक नीति लाई जा रही है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश में अब तक भर्तियों में धांधली और अराजकता का वातावरण रहा है, पुलिस भर्ती की पारदर्शी और भ्रष्टाचारमुक्त प्रक्रिया प्रारम्भ की गई है, जिसके तहत हर वर्ष 30 हजार कॉंस्टेबल और दो हजार सब इंस्पेक्टर भर्ती किए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने गोमती रिवर फ्रंट की चर्चा करते हुए कहा कि जिस दिन यह योजना बनी, उस दिन इसकी लागत 150 करोड़ रुपए थी और डीपीआर बनने के बाद 660 करोड़ रुपए हो गई, अब 1437 करोड़ रुपए खर्च होने के बावजूद यह योजना अधूरी ही है। उन्होंने कहा कि इस पर लगने वाला पैसा प्रदेश की 22 करोड़ जनता की गाढ़ी कमाई का है, अराजकता और वित्तीय अनुशासनहीनता किए जाने का अधिकार किसी को नहीं होना चाहिए। इसमें जवाबदेही तय होनी चाहिए और यह जवाबदेही सदनों के प्रति होनी चाहिए।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि विकास योजनाओं का लाभ समाज के अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति को मिलेगा, किसी के साथ भेदभाव नहीं होगा, प्रदेश की 22 करोड़ जनता को सुरक्षा देने की गारंटी राज्य सरकार की है। उन्होंने कहा कि अपराधियों के साथ सरकार कठोरता से निपटेगी और उनको संरक्षण देने वालों को भी नहीं छोड़ा जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में कानून का राज, सर्वांगीण विकास तथा सुशासन की स्थापना की जाएगी, जिसमें दलीय भावना से ऊपर उठकर सभी के सहयोग की आवश्यकता है, सबके सहयोग से प्रदेश में परिवर्तन जरूर दिखेगा।