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Sunday 2 July 2017 02:09:57 AM
नई दिल्ली। भारत गौ सेवक समाज के महामंत्री स्वामी भक्तहरि ने गौ सुरक्षा के संबंध में दिल्ली पुलिस आयुक्त से भेंट के बाद कहा है कि गौरक्षा हिंसा से नहीं, बल्कि गौपालन से होगी। स्वामी भक्तहरि ने कल शाम संस्था के कार्यालय में मीडिया से कहा कि असामाजिक तत्व हिंसा करके गौरक्षा को बदनाम कर रहे हैं, जबकि कोई भी गौसेवक, गौपालक हिंसक हो ही नहीं सकता। उन्होंने कहा कि जो व्यक्ति अपने भोजन से पहले गाय को भोजन दे, पानी दे, अपनी सुख-सुविधा से पहले गौमाता की व्यवस्था करे, उसकी आराधना करे, भला वो हिंसा करेगा? हिंसा करने वाले लोग निश्चित रूपसे गौपालक, गौसेवक अथवा गौरक्षक नहीं हो सकते।
भारत गौ सेवक समाज संस्था के पदाधिकारियों के साथ गौरक्षा पर स्वामी भक्तहरि ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने साबरमती आश्रम में जो कहा उसे असामाजिक और हिंसक तत्वों को समझ लेना चाहिए कि गौरक्षा के नाम पर लोगों को मारना स्वीकार्य नहीं है और वे गौरक्षा के नाम पर हिंसा करके गौसेवकों, गौपालकों को बदनाम न करें। उन्होंने कहा कि भारत गौसेवक समाज हिंसा करने वालों के प्रति सख्त से सख्त कार्रवाई के पक्ष में है। भारत गौ सेवक समाज संस्था के अध्यक्ष रविंद्र गुप्ता ने कहा कि भारत गौसेवक समाज देशभर के गौसेवकों, गौपालकों, गौशालाओं को जोड़कर एक नेटवर्क तैयार करेगा और गौपालन से गौरक्षा के कार्य को बढ़ावा देगा, गौशालाओं की समस्याओं के समाधान का प्रयास करेगा। उन्होंने कहा कि लोकेश शर्मा एक टीम के साथ योजना का प्रारूप तैयार कर रहे हैं, सरकार अपना कार्य करे, संपूर्ण गोवंश हत्याबंदी के लिए केंद्रीय कानून बनाए। उन्होंने कहा कि भारत गौसेवक समाज योजनाबद्ध कार्यों से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सूत्र अ-सरकारी कार्य ज्यादा असरकारी होता है, को अपने कार्य से सिद्ध करेगा।