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Thursday 5 April 2018 05:13:34 PM
नई दिल्ली। केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग एवं नागर विमानन मंत्री सुरेश प्रभु ने कहा है कि भारत जैसे देशों में व्यापार गतिविधियों से निपटने तथा घरेलू और विश्व अर्थव्यवस्था के साथ वृहद और तेजी से समाहित होने के लिए बेहतरीन लॉजिस्टिक्स महत्वपूर्ण है और इस बात को ध्यान में रखते हुए अगले कुछ वर्ष में 56 नए हवाई अड्डे काम करने लगेंगे। सुरेश प्रभु नई दिल्ली में दो दिवसीय ग्लोबल लॉजिस्टिक्स शिखर सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि लॉजिस्टिक्स और कनेक्टीविटी में सुधार लाने के लिए सभी साझेदारों को एक साथ लाकर एक मंच तैयार किया जा सकता है, जो अंतरराज्यीय और अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के प्रवाह में बढ़ोतरी के लिए महत्वपूर्ण साबित होगा।
वाणिज्य और उद्योग मंत्री सुरेश प्रभु ने दावा किया है कि वर्ष 2019-20 में भारतीय लॉजिस्टिक्स उद्योग करीब 215 अरब अमेरिकी डॉलर होगा, जो प्रतिवर्ष दस प्रतिशत की दर से बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले दशक में अथवा उसके बाद रेलवे, सड़कों, राजमार्गों, अंतर्देशीय जलमार्गों, विमानन, बंदरगाहों और तटीय नौवहन में पर्याप्त सुधार हुआ है। सुरेश प्रभु ने कहा कि भारत की लॉजिस्टिक्स परफॉर्मेंस इंडेक्स रैंकिंग में सुधार आया है, जो 2014 में 54 थी और 2016 में 35 हो गई। उन्होंने कहा कि लॉजिस्टिक्स सेवाओं में वृद्धि को बनाए रखने के लिए महत्वपूर्ण है कि बुनियादी ढांचा क्षेत्रों, सेवाओं और परिवहन के विभिन्न साधनों के लॉजिस्टिक्स के मामले में एक सुसंगत दृष्टिकोण अपनाया जाए। सुरेश प्रभु ने कहा कि इन मामलों पर जागरुकता निर्माण और बेहतर समझ विकसित करने के लिए वाणिज्य विभाग ने फिक्की और विश्व बैंक समूह के साथ इस शिखर सम्मेलन का आयोजन किया है, जिसमें विश्वभर के विशेषज्ञों, शिक्षाविदों, सरकारी अधिकारियों और निजी क्षेत्र तथा उद्योग के प्रतिनिधियों को इससे संबंधित विषयों पर विचार करने का अवसर मिलेगा।