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खादी बनेगा अंतर्राष्‍ट्रीय ब्रांड-केवीआईसी

खादी एवं ग्रामोद्योग के राष्‍ट्रीय बोर्ड की नौवीं बैठक

खादी स्‍टोरों की सहायता के लिए मोबाइल एप लांच

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Saturday 7 April 2018 01:08:13 PM

giriraj singh chairing the 9th meeting of national khadi and village industries board

नई दिल्ली। केंद्रीय खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग के राष्‍ट्रीय बोर्ड की नौवीं बैठक नई दिल्‍ली में हुई, जिसकी अध्‍यक्षता सूक्ष्‍म, लघु एवं मझोले उद्यम राज्‍यमंत्री गिरिराज सिंह ने की। उन्होंने बैठक में देशभर में फैले 4,000 खादी स्‍टोरों के सटीक स्‍थानों का पता लगाने में सहायता के लिए एक मोबाइल फोन एप लांच किया। केवीआईसी के अध्‍यक्ष विनय कुमार सक्‍सेना ने इस मौके पर बोर्ड की बैठक में जानकारी दी कि इस समय भारत में 8,000 से भी ज्‍यादा खादी स्‍टोर हैं, शेष स्‍टोरों को भी इस माह के आखिर तक स्‍टोर लोकेटर पर उपलब्‍ध करा दिया जाएगा। विनय कुमार सक्‍सेना ने कहा कि केवीआईसी के वर्ष 2017-18 के आखिर तक 5,000 करोड़ रुपये का बिक्री लक्ष्य पार कर लेने की उम्‍मीद है और यह विदेश में खादी उत्‍पादों की बिक्री को बढ़ावा देने के लिए निर्यात प्रकोष्‍ठों की भी स्‍थापना कर रहा है, ताकि खादी को एक अंतर्राष्‍ट्रीय ब्रांड बनाया जा सके।
गौरतलब है कि खादी एवं ग्रामोद्योग उत्‍पादों का निर्माण निजी स्‍वामित्‍व वाली लगभग 7 लाख घरेलू अथवा पारिवारिक इकाइयां करती हैं, जिनका वित्तपोषण प्रधानमंत्री रोज़गार सृजन कार्यक्रम जैसी योजनाओं के जरिए किया जाता है। खादी और ग्रामोद्योग आयोग भारत सरकार का एक वैधानिक निकाय है। यह खादी और ग्रामोद्योग से संबंधित सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग मंत्रालय की एक शीर्ष संस्था है, जिसका मुख्य उद्देश्य ग्रामीण इलाकों में खादी एवं ग्रामोद्योगों की स्थापना और विकास करने के लिए योजना बनाना, प्रचार करना, सुविधाएं और सहायता प्रदान करना है, जिसमें वह आवश्यकतानुसार ग्रामीण विकास के क्षेत्र में कार्यरत अन्य एजेंसियों की सहायता भी ले सकती है। खादी को कच्चे माल के आधार पर भारत के विभिन्न भागों से प्राप्त किया जाता है। पश्चिम बंगाल, बिहार, ओडिशा और उत्तर पूर्वी राज्यों से रेशमी माल प्राप्त किया जाता है, जबकि कपास की प्राप्ति आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश, बिहार और पश्चिम बंगाल से होती है। पॉली खादी को गुजरात और राजस्थान में काता जाता है, जबकि हरियाणा, हिमाचल प्रदेश एवं जम्मू और कश्मीर को ऊनी खादी के लिए जाना जाता है।

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