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भारत की जीआईआई रैंकिंग में सुधार-वटल

'अनुसंधान एवं विकास पर खर्च करने की प्रवृत्ति बढ़ी'

'सतत घरेलू ऊर्जा आपूर्ति सुनिश्चित होनी चाहिए'

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Friday 10 August 2018 02:54:13 PM

policy commission

नई दिल्ली। नीति आयोग के प्रधान सलाहकार एवं प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद के सदस्‍य सचिव रतन पी वटल ने दिल्‍ली में वैश्विक नवाचार सूचकांक 2018 को भारत में लांच किए जाने पर कहा है कि भारत सरकार और उद्योग जगत को देश में अनुसंधान, विकास और नवाचार को बढ़ावा देने के लिए अपने प्रयासों में सामंजस्‍य स्‍थापित करना चाहिए। इस कार्यक्रम का आयोजन भारतीय उद्योग परिसंघ, जो विश्‍व बौद्धिक संपदा संगठन के साथ जीआईआई के संस्‍थापक साझेदारों में से एक है, ने औद्योगिक नीति एवं संवर्द्धन विभाग के सहयोग से किया था। उन्होंने कहा कि भारत वैश्विक नवाचार सूचकांक में वर्ष 2017 के 60वें पायदान से चढ़कर वर्ष 2018 में 57वें पायदान पर आ गया है और भारत दो वर्ष से जीआईआई में अपनी रैंकिंग में निरंतर सुधार कर रहा है।
रतन पी वटल ने कहा कि अनुसंधान एवं विकास पर खर्च करने की प्रवृत्ति भारत में बढ़ रही है और हम बेहतर रैंकिंग जैसे जीआईआई में रैंकिंग में सुधार होने के रूपमें इसके सकारात्‍मक नतीजे देख रहे हैं। रतन पी वटल ने यह भी कहा कि जीआईआई 2018 की रिपोर्ट से एक और उद्देश्‍य पूरा हुआ है कि इससे दुनिया की समान अर्थव्‍यवस्‍थाओं के उदाहरणों से अवगत होने के साथ-साथ यह समझने में मदद मिलती है कि इन देशों में इस तरह के बदलाव आखिरकार कैसे संभव हो पाए हैं। इस रिपोर्ट में भारतीय अध्‍याय का लेखन करने वाले परमाणु ऊर्जा आयोग के पूर्व अध्‍यक्ष डॉ अनिल काकोदकर ने कहा कि हमें निश्चित रूपसे ऐसी रणनीतियां तैयार करनी चाहिएं, जिससे हमारे यहां ऊर्जा की किल्‍लत दूर हो और हम सतत घरेलू ऊर्जा आपूर्ति सुनिश्चित कर सकें।
डॉ अनिल काकोदकर ने भारत की ऊर्जा समस्‍याओं से निपटने के लिए अभिनव तौर-तरीकों पर गौर करने की जरूरत पर बल दिया। विश्‍व बौद्धिक संपदा संगठन के सहायक महानिदेशक नरेश प्रसाद ने कहा कि जीआईआई ने विभिन्‍न राष्‍ट्रों को अपने नवाचार संबंधी प्रदर्शन की तुलना अन्‍य देशों से करने में समर्थ बना दिया है। उन्‍होंने कहा कि विपो भारत के साथ मिलकर काम करना पसंद करेगा, ताकि उसके नवाचार परितंत्र का निर्माण हो सके। उन्‍होंने नवाचार को बढ़ावा देने की दिशा में निरंतर काम करने के लिए सीआईआई की सराहना की।

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