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'भारत की ई-वीजा प्रणाली दिन-ब-दिन लोकप्रिय'

देश में विदेशी पर्यटकों की यात्रा को सुखद बनाना है-गृह सचिव

दिल्ली में वीजा व्यवस्था को उदार बनाने पर हुआ सम्मेलन

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Tuesday 4 December 2018 06:16:54 PM

rajiv gauba chairing a conference on streamlining of india's visa regime

नई दिल्ली। केंद्रीय गृह सचिव राजीव गौबा ने कहा है कि वीजा व्यवस्था को बाधाओं से मुक्त करने के पीछे भारत सरकार का लक्ष्य देश में विदेशी पर्यटकों की यात्रा और प्रवास को सुखद बनाना है। गृह सचिव राजीव गौबा ने आज दिल्ली में 'भारत की वीजा व्यवस्था को सुचारू बनाना' विषय पर एक सम्मेलन को संबोधित करते हुए वीजा व्यवस्था को उदार बनाने की दिशा में किए गए विभिन्न नीतिगत उपायों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि नागर विमानन, पर्यटन, स्वास्थ्य, उच्चतर शिक्षा जैसे विभिन्न मंत्रालयों और संबद्ध पक्षों की चिंताओं और सुझावों को ध्यान में रखते हुए आवश्यक उपाय किए गए हैं। उन्होंने कहा कि भारत में शिक्षा और पर्यटन का वैश्विक केंद्र बनने की क्षमता है, लेकिन फील्ड स्तरपर मानसिकता में बदलाव लाने की भी आवश्यकता है, ताकि विदेशी नागरिक देश में आकर बेहतर महसूस करें।
केंद्रीय गृह सचिव राजीव गौबा ने कहा कि अनुकूल वीजा व्यवस्था से व्यापार में सुगमता लाने में भी मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही प्रौद्योगिकी उपकरणों का इस्तेमाल करते हुए सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ बनाने की भी आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि हाल ही में शुरू की गई ई-एफआरआरओ व्यवस्था विदेशी नागरिकों को वीजा संबंधी 27 सुविधाएं प्रदान करती है। उन्होंने कहा कि ई-वीजा सुविधा अब 166 देशों में उपलब्ध है और विदेशी यात्री पर्यटन, व्यापार, स्वास्थ्य, चिकित्सा उपचार और सम्मेलन जैसे प्रयोजनों के लिए 72 घंटों के भीतर ऑनलाइन वीजा प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि इन चार वर्ष में जारी किए गए ई-वीजा की संख्या में भारी बढ़ोतरी हुई है, वर्ष 2015 में 5.17 लाख ई-वीजा जारी किए गए थे, ये संख्या 30 नवंबर 2018 तक बढ़कर 21 लाख पर पहुंच गई है और आज जारी किए जानेवाले कुल वीजा में करीब 40 प्रतिशत ई-वीजा प्रणाली के जरिए जारी किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह प्रणाली दिन-ब-दिन लोकप्रिय हो रही है और उम्मीद है कि जल्दी ही 50 प्रतिशत वीजा इसके जरिए जारी किए जाने लगेंगे।
गृह सचिव राजीव गौबा ने वीजा व्यवस्था को उदार बनाने की दिशा में किए गए कुछ उपायों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इंटर्नशिप वीजा मंजूर करने में छूट दी गई है, जिसका लाभ देश में अध्ययनरत कोई भी विद्यार्थी उठा सकता है, इसके अतिरिक्त व्यापार वीजा की अवधि में 5 वर्ष से अधिक विस्तार, आपात स्थिति में देश में पहले से विद्यमान किसी विदेशी को अपने वीजा को चिकित्सा श्रेणी में बदलने की सुविधा प्रदान करना और सम्मेलन में हिस्सा लेने आए विदेशियों को लंबी अवधि के वीजा की अनुमति देने जैसे उपाय भी किए गए हैं। गृह सचिव ने कहा कि सम्मेलन में प्राप्त सुझावों का इस्तेमाल वीजा व्यवस्था को भविष्य में और उदार बनाने के लिए किया जाएगा, जिसकी प्रकिया पहले से जारी है। सम्मेलन में गृह मंत्रालय, नागर विमानन, पर्यटन, सूचना और प्रसारण, सुरक्षा एजेंसियों और उद्योग जगत के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया।

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