स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम
Friday 1 March 2019 01:05:54 PM
नई दिल्ली। केंद्रीय वाणिज्य, उद्योग और नागरिक उड्डयन मंत्री सुरेश प्रभु ने कहा है कि विमानन क्षेत्र में भारतीय अर्थव्यवस्था की वृद्धि को बढ़ावा देने की क्षमता मौजूद है। फ्लाइंग फॉर ऑल विषय पर एविएशन कॉन्क्लेव 2019 का उद्घाटन करते हुए सुरेश प्रभु ने कहा कि तरक्की की राह पर अग्रसर विमानन क्षेत्र कई अन्य क्षेत्रों को अपने साथ लेकर जीडीपी को प्रोत्साहन दे सकता है। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में विकास हासिल करने के लिए नीति की गतिशीलता में स्पष्टतातथावृहत और सूक्ष्म तालमेल होना चाहिए। उन्होंने कहा कि इसका आशय यह है कि तत्काल कार्रवाई योग्य योजनाओं के साथ स्पष्ट दीर्घकालिक रणनीति होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि ड्रोन, विमानन क्षेत्र के लिए ग्रीनफील्ड अवसर प्रदान करते हैं।
नागरिक उड्डयन मंत्री सुरेश प्रभु ने विमान विनिर्माण, विमान पट्टे पर देने तथा दीर्घकालिक संपत्ति निर्माण, कार्गो नीति और वित्तीय सेवाओं के लिए वित्तपोषण, प्रौद्योगिकी इनपुट के साथ संसाधन उपयोग के अनुकूलन को विमानन क्षेत्र के लिए उच्च महत्व के कुछ क्षेत्रों के रूपमें रेखांकित करते हुए उनकी योजना की रूपरेखा प्रस्तुत की। उन्होंने कहा हम व्यवस्था को कुशल, निष्पक्ष और स्वीकार्य रखने के लिए प्रयासरत हैं। सुरेश प्रभु ने कहा कि सरकार के फ्लाइंग फ़ॉर ऑल विजन को पूरा करने की निश्चितता भारतीय विमानन क्षेत्र में संपूर्ण क्रांति लाने की सरकार की प्रतिबद्धता को मजबूती प्रदान करती है।
सुरेश प्रभु ने कहा कि यह कॉन्क्लेव भारतीय विमानन क्षेत्र के भविष्य से संबंधित है, जो हमारे विजन-2040 के लक्ष्य तय करने और उनको साकार करने के लिए हमें प्रेरित करने हेतु इस उद्योग की प्रमुख हस्तियों, सरकार और नियामकों को एक साथ लाया है। नागरिक उड्डयन राज्यमंत्री जयंत सिन्हा ने कहा कि हमारा ध्यान अब 6 और हवाईअड्डों के लिए पीपीपी मॉडल पर है, हम चाहते हैं कि इस क्षेत्र को आगे बढ़ाने के लिए उद्योग जगत जोखिम उठाए और निवेश करे। उन्होंने वृद्धि बरकरार रखने के लिए नीतिगत नवोन्मेष का आह्वान किया और कहा कि ड्रोन ईकोसिस्टम में भारत को इस क्षेत्र का ग्लोबल लीडर बनाने का सामर्थ्य मौजूद है। इस अवसर पर यात्री चार्टर जारी किया गया।