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नई दिल्ली। कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय ने इलैक्ट्रानिक प्रणाली से कंपनी अधिनियम 1956 के तहत स्वीकृति की कानूनी वैधता के लिए सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2000 की धाराओं 2,4,5 और 81 पर विचार करने के पश्चात कागज रहित स्वीकृति की अनुमति से कॉर्पोरेट प्रशासन में हरित पहल की शुरूआत की है।
कंपनी पंजीयक को कंपनी नियमावली 1956 के साथ पठित कंपनी अधिनियम 1956 के प्रावधानों के तहत कंपनियों और पणधारकों को अपेक्षित बड़ी संख्या में प्रमाण पत्र जारी करने होते हैं। कंपनी नियमावली 1956 के नियम 24 के अनुसार कंपनी अधिनियम 1956 के प्रावधानों के तहत स्वीकृत प्रमाणपत्र अथवा प्रति पंजीयक से हस्ताक्षरित होनी चाहिए, तारीख अंकित होनी चाहिए और उसके कार्यालय की मोहर लगी होनी चाहिए। वर्तमान में ये प्रमाणपत्र कंपनी पंजीयक के हाथ से किए गए हस्ताक्षर से डाक से जारी किए जाते हैं।
समय की बचत और हरित पहल की ओर एक अन्य कदम के तहत निश्चित किया गया है कि कंपनी पंजीयक से जारी होने वाले सभी प्रमाण पत्र और मानक पत्र कंपनी पंजीयक के डिजिटल हस्ताक्षर से इलैक्टॉनिक तरीके से जारी किए जाएंगे। डिजिटल प्रमाण पत्र तैयार किए जा रहे हैं और चरणबद्ध ढंग से 30 जून 2011 तक जारी होने के लिए उपलब्ध होंगे।