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नई दिल्ली। भारत के उन व्यक्तियों को आयकर रिटर्न दाखिल करने की आवश्यकता नहीं है, जिनकी वर्ष 2010-11 में एक ही नियोजक से प्राप्त कुल आमदनी, स्वीकार्य कटौती के बाद 5 लाख रूपए तक और बचत खाते में जमा राशि से प्राप्त आमदनी 10 हज़ार रूपए तक की है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड ने पांच लाख तक का वेतन पाने वाले कर दाताओं को आंकलन वर्ष 2011-12 में 31 जुलाई 2011 तक देय, आयकर रिटर्न दाखिल करने से छूट संबंधी योजना को अधिसूचित कर दिया है।
ध्यान दें- ऐसे व्यक्तियों को अपना स्थाई खाता संख्या (पैन) और बैंक के ब्याज़ से होने वाली समूची आय की जानकारी अपने नियोक्ता को देनी होगी। उन्हें स्रोत पर ही कर देना होगा और कर निगमन के बारे में फॉर्म संख्या 16 प्राप्त करना होगा। ऐसे व्यक्ति जो एक से अधिक नियोक्ता से वेतन प्राप्त करते हैं, वेतन के अतिरिक्त दूसरे स्रोतों से आय है और बैंक के बचत खाते की ब्याज से आय होती है या जो धन वापसी का दावा करते हैं, इस योजना के अंतर्गत नहीं आएंगे। यह योजना ऐसे मामलों में लागू नही होगी, जहां आय कर कानून 1961 की धारा 142(1) या धारा 148 या धारा 153 'अ' के तहत आय कर दाखिल करने के लिए नोटिस जारी किए गए हैं।