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मुख्य सचिव का औचक निरीक्षण एवं जनता मिलन

जनजाति के गांव में रात बिताई

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मुख्य सचिव सुभाष कुमार-chief secretary subhash kumar

देहरादून। सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने के अधिकतम प्रयास किए जा रहे हैं जिनके अंतर्गत प्रशासन व्यवस्था में और ज्यादा चुस्त और सक्रिय बनाने के लिए निरीक्षण समीक्षाओं और जनता के निकट पहुंचने पर ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है। अधिकारियों और कर्मचारियों से कहा गया है कि वे अपने दायित्वों का निर्वहन कर ऐसी कार्य प्रणाली विकसित करें कि आम आदमी को अनावश्यक रूप से मुख्यालय न आना पड़े, उनकी सभी समस्याएं तहसील स्तर पर ही हल हों। यह बात उत्तराखंड के मुख्य सचिव सुभाष कुमार ने शनिवार को चकराता क्षेत्र के अचानक निरीक्षण के दौरान कही।

मुख्य सचिव ने सहसपुर विकासखण्ड का आकस्मिक निरीक्षण करते हुए भ्रमण पंजिका में गलत तथ्य अंकित करने पर विकासखण्ड कार्यालय में तैनात सहायक लेखाकार रमन गुप्ता और वरिष्ठ लेखाकार को निलम्बित करने के विकासखण्ड अधिकारी को आदेश दिए। इसके साथ ही मुख्य सचिव ने समय पर कार्यालय में उपस्थित न होने पर विकासखण्ड में कार्यरत 4 कर्मियों का एक दिन का वेतन रोकने के निर्देश भी दिए। इसके पश्चात मुख्य सचिव सहिया भ्रमण पर गए जहां पर उन्होंने क्षतिग्रस्त भवनों का निरीक्षण किया और क्षतिग्रस्त भवनों के स्वामियों से मिलकर उन्हें मिले अनुदान की जानकारी प्राप्त की। सुभाष कुमार जनजाति क्षेत्र चकराता के भ्रमण पर थे जहां उन्होंने शनिवार को ग्राम दसऊं में रात्रि विश्राम किया।

मुख्य सचिव ने सहिया में पुलिस चौकी और पूर्व माध्यमिक विद्यालय कोरबा का औचक निरीक्षण किया। उन्होंने विद्यालय में छात्र-छात्राओं से बात कर उनसे मध्यान्ह भोजन योजना की प्रगति की जानकारी प्राप्त की। दैवीय आपदा में क्षतिग्रस्त भवनों का भी निरीक्षण किया और प्रभावितों की समस्याओं को सुना। अधिकारियों को निर्देश दिए कि दैवीय आपदा राहत कार्यों में तेजी लाकर प्रभावित लोगों को तत्काल मदद पहुंचाई जाए।

तहसील सभागार चकराता में आयोजित जनता मिलन कार्यक्रम में मुख्य सचिव ने जनता की समस्याओं को सुना और उनकी समस्याओं के निवारण के लिए अधिकारियों को मौके पर ही निर्देश भी दिये। मुख्य सचिव ने कहा कि अधिकारी सुनिश्चित करें कि आम आदमी से जुड़ी सुविधाएं उन्हें उपलब्ध हों। उन्होंने बिजली, सिंचाई, शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क और पेयजल आदि विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिये कि विकास योजनाओं को समयबद्ध ढंग से और गुणवत्ता के साथ पूरा किया जाए। मुख्य सचिव ने जनता मिलन में बताया कि दैवीय आपदा से पेयजल की 155 योजनाएं क्षतिग्रस्त हुई थीं, जिनमें से 58 स्वीकृत हो चुकी हैं, शेष पर शीघ्र ही कार्य किया जायेगा। इसी प्रकार सिंचाई की 136 नहरें क्षतिग्रस्त हुई थीं, जिनमें से 55 की स्वीकृति दी जा चुकी है और शेष पर कार्य प्रगति पर है।

मुख्य सचिव ने निर्देश दिये कि प्रत्येक 33 केवी विद्युत सब स्टेशन के खराब ट्रांसफार्मर बदले जाएं, जिससे विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित हो सके। उन्होंने लोक निर्माण विभाग को निर्देश दिए कि पुरोडी-डामटा-रावडा, चकराता-त्यूनी, कोरी-कनासर, रावना-पुराई, मुंशी घाटी देव मोटर मार्ग निर्माण को शीघ्र पूरा किया जाए। चिकित्सा विभाग के अधिकारियों से कहा कि शीघ्र ही सामुदायिक चिकित्सालय में चिकित्सकों की तैनाती की जाए। इस दौरान मुख्य सचिव के साथ जिलाधिकारी देहरादून सचिन कुर्बे, विभिन्न विभागों के अधिकारी और जनप्रतिनिधि उपस्थित थे।

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