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नई दिल्ली। केंद्रीय ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री डॉ सीपी जोशी ने ग्रामीण विकास के लिए किफायती, वहनीय, समुचित एवं टिकाऊ प्रौद्योगिकी अपनाने पर बल दिया है। लोक कार्यक्रम एवं ग्रामीण प्रौद्योगिकी प्रगति परिषद (कपार्ट) की दो दिन की कार्यशाला के समापन के अवसर पर डॉ जोशी ने कहा कि कपार्ट को ग्रामीण विकास संबंधी मुद्दों के बारे में जागरूक करने का दायित्व सौंपा गया है, हालांकि बदलते समय के साथ इस संगठन में सुधार की ज़रूरत है और इसे जनता तक पहुंचने के लिए खुद को पुनर्केंद्रित करने की ज़रूरत है।ग्रामीण विकास मंत्री ने वास्तविक धरातल पर पंचायती राज संस्थाओं के साथ संपर्क करने पर भी बल दिया। उन्होंने कहा कि प्रभावी भूमिका निभाने के लिए कपार्ट को गांव में आजीविका के अवसर बढ़ाने के लिए स्थानीय रूप से उपलब्ध और टिकाऊ प्रौद्योगिकी सहयोग का लाभ उठाना चाहिए। डॉ जोशी ने कहा कि समुचित प्रौद्योगिकी के उपयोग से स्थानीय स्तर पर टिकाऊ कार्यक्रम से ही सफलता हासिल की जा सकती है। उन्होंने पंचायती राज संस्थानों के पदाधिकारियों के क्षमता निर्माण में वृद्धि की आवश्यकता पर बल दिया और कहा कि कपार्ट को ग्रामीण क्षेत्रों में स्वयं सेवी संगठनों के साथ सक्रिय भूमिका निभानी चाहिए।