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Tuesday 9 March 2021 02:52:58 PM
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर अयोजित किए जाने वाले 'आजादी का अमृत महोत्सव' के लिए राष्ट्रीय समिति की ऑनलाइन पहली बैठक की, जिसमें प्रधानमंत्री ने कहा कि धूमधाम और उत्साह के साथ देशभर में आजादी के 75 वर्ष का महोत्सव मनाया जाएगा, जो ऐतिहासिक प्रकृति, गौरव एवं अवसर के महत्व के अनुकूल होगा। उन्होंने समिति सदस्यों से प्राप्त नए विचारों की सराहना की। उन्होंने आजादी महोत्सव को भारत के लोगों को समर्पित करते हुए कहा कि यह एक ऐसा समारोह होना चाहिए, जिसमें स्वतंत्रता संग्राम की भावना, शहीदों को श्रद्धांजलि तथा नए भारत निर्माण के उनके संकल्प को अनुभव किया जा सके।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि आजादी महोत्सव में सनातन भारत के गौरव की झलकियों तथा आधुनिक भारत की चमक को भी साकार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि आजादी महोत्सव में संतों की आध्यात्मिकता की रोशनी तथा हमारे वैज्ञानिकों की प्रतिभा और ताकत भी परिलक्षित होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि आजादी महोत्सव विश्व के सामने 75 वर्ष में भारत की उपलब्धियों को प्रदर्शित करेगा तथा अगले 25 वर्ष के लिए हमारे लिए संकल्प करने की एक रूपरेखा भी प्रदान करेगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि कोई भी संकल्प बिना समारोह के सफल नहीं हैं और जब कोई संकल्प समारोह का रूप ले लेता है तो लाखों लोगों की प्रतिज्ञा और ऊर्जा उसमें जुड़ जाती है। प्रधानमंत्री ने कहा कि 75 वर्ष का समारोह 130 करोड़ भारतीयों की भागीदारी से किया जाना है तथा यह भागीदारी इस समारोह के मूल में है, इसमें 130 करोड़ देशवासियों की अनुभूतियां, सुझाव तथा सपने शामिल हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सदस्यों को जानकारी दी कि आजादी समारोह के लिए पांच स्तंभों का निर्णय किया गया है, ये हैं-स्वतंत्रता संग्राम, 75 पर विचार, 75 पर उपलब्धियां, 75 पर कदम तथा 75 पर संकल्प। प्रधानमंत्री ने कम ज्ञात स्वतंत्रता सेनानियों को सम्मानित करने तथा लोगों को उनकी कहानियों के बारे में भी बताने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि देश का हर कोना देश के बेटों और बेटियों की शहादत से भरा हुआ है और उनकी बलिदानी कहानियां देश के लिए प्रेरणा का शाश्वत स्रोत होंगी। उन्होंने कहा कि हमें प्रत्येक वर्ग के योगदान को सामने लाना है, ऐसे बहुत से लोग हैं, जो पीढ़ियों से देश के लिए बहुत महान कार्य कर रहे हैं, उनके योगदान, विचार तथा सोच को राष्ट्रीय प्रयासों के साथ समेकित किए जाने की आवश्यकता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह ऐतिहासिक आजादी समारोह स्वतंत्रता सेनानियों के सपने पूरे करने और ऐसी ऊंचाई पर भारत को पहुंचाने की उनकी कल्पना को लेकर है। उन्होंने कहा कि देश ऐसी चीजें अर्जित कर रहा है, जिनके बारे में कुछ वर्ष पहले तक सोचा भी नहीं जा सकता था। उन्होंने कहा कि यह समारोह भारत के ऐतिहासिक गौरव के अनुरूप होगा।
आजादी महोत्सव की समिति के सदस्यों ने प्रधानमंत्री को महोत्सव की योजना बनाने और इसके आयोजन के लिए धन्यवाद दिया। उन्होंने महोत्सव के दायरे को और विस्तारित करने के लिए अपने सुझाव तथा इनपुट भी दिए। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह भी इस अवसर पर मौजूद थे। उन्होंने कहा कि भविष्य में ऐसी और अधिक बैठकें होंगी तथा प्राप्त सुझावों एवं इनपुट्स पर विचार किया जाएगा। राज्यपालों, केंद्रीय मंत्रियों, मुख्यमंत्रियों, राजनेताओं, वैज्ञानिकों, अधिकारियों, मीडिया शख्सियतों, आध्यात्मिक नेताओं, कलाकारों तथा फिल्म से जुड़े व्यक्तियों, खिलाड़ियों तथा जीवन के अन्य क्षेत्रों के विख्यात व्यक्तियों सहित राष्ट्रीय समिति के सदस्यों ने बैठक में भाग लिया। समिति के सदस्यों में पूर्व राष्ट्रपति प्रतिभा देवी सिंह पाटिल, पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवेगौड़ा, नवीन पटनायक, मल्लिकार्जुन खड़गे, मीरा कुमार, सुमित्रा महाजन, जेपी नड्डा, मौलाना वहीदुद्दीन खान शामिल थे।