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Friday 21 January 2022 03:00:04 PM
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद कुमार जगन्नाथ ने संयुक्त रूपसे मॉरीशस में सामाजिक आवास इकाई परियोजना का उद्घाटन किया है, जिन्हें भारत और मॉरीशस के बीच बड़ी विकास साझेदारी केतहत कार्यांवित किया गया है। इस अवसर पर दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों ने दो अन्य परियोजनाओं के वर्चुअल शिलान्यास समारोह में भी भाग लिया, जिनमें एक अत्याधुनिक सिविल सर्विस कॉलेज और 8 मेगावाट के एक सौर पीवी फार्म का निर्माण शामिल है। इनका निर्माण भी भारत के विकास सहयोग के तहत किया जाना है। यह कार्यक्रम वीडियो कॉंफ्रेंसिंग से मॉरीशस के पीएमओ परिसर में कैबिनेट मंत्रियों और मॉरीशस सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में हुआ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर भारत की विकास सहायता को रेखांकित करनेवाले विजन पर प्रकाश डाला, जो मित्र देशों की जरूरतों एवं प्राथमिकताओं का ख्याल रखने और उनकी संप्रभुता का सम्मान करने के साथ-साथ लोगों की खुशहाली बढ़ाने और उनकी क्षमताओं को मजबूत करने पर केंद्रित है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्र निर्माण में सिविल सर्विस कॉलेज परियोजना के विशेष महत्व को रेखांकित किया और मिशन कर्मयोगी से जुड़ी सीख को साझा करने की पेशकश की। प्रधानमंत्री ने ‘वन सन वन वर्ल्ड वन ग्रिड’ पहल को स्मरण किया, जिसे उन्होंने अक्टूबर 2018 में अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन की पहली सभा में सामने रखा था। प्रधानमंत्री ने कहाकि 8 मेगावाट की सौर पीवी फार्म परियोजना 13,000 टन कार्बन डाईऑक्साइड के उत्सर्जन को सफलतापूर्वक टाल करके मॉरीशस के सामने आनेवाली जलवायु चुनौतियों को कम करने में मदद करेगी। प्रधानमंत्री प्रविंद जगन्नाथ ने मॉरीशस को वित्तीय सहायता समेत बड़े पैमाने पर सहायता प्रदान करने केलिए भारत को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत और मॉरीशस के संबंधों ने नई ऊंचाइयों को हासिल किया है। भारत सरकार ने मई 2016 में मॉरीशस सरकार को विशेष आर्थिक पैकेज के रूपमें 353 मिलियन अमेरिकी डॉलर का अनुदान दिया था, ताकि मॉरीशस सरकार की पांच प्राथमिकता वाली परियोजनाओं को पूरा किया जा सके, ये परियोजनाएं थीं-मेट्रो एक्सप्रेस परियोजना, सुप्रीम कोर्ट भवन, नया ईएनटी अस्पताल, प्राथमिक स्कूल के बच्चों को डिजिटल टैबलेट की आपूर्ति और सामाजिक आवास परियोजना।
नरेंद्र मोदी ने कहाकि यह कार्यक्रम ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास, सबका प्रयास’ की भावना के अनुरूप इस सफल और समय की कसौटी पर खरी उतरी भारत और मॉरीशस साझेदारी में एक और मील का पत्थर है। उन्होंने कहाकि भारत और मॉरीशस केबीच साझा इतिहास, वंशावली, संस्कृति और भाषा के माध्यम से घनिष्ठ संबंध हैं, यह संबंध दोनों देशों केबीच विशेषाधिकार प्राप्त विकास साझेदारी में परिलक्षित होता है। मॉरीशस हिंद महासागर क्षेत्र में भारत का एक प्रमुख विकास साझीदार है। वर्ष 2019 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रधानमंत्री जगन्नाथ ने संयुक्त रूपसे मेट्रो एक्सप्रेस परियोजना और मॉरीशस में नए ईएनटी अस्पताल का वर्चुअल मोड में उद्घाटन किया था। इसी प्रकार जुलाई 2020 में मॉरीशस के सुप्रीम कोर्ट के नए भवन का भी दोनों प्रधानमंत्रियों ने वर्चुअल उद्घाटन किया था। मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद जगन्नाथ की भारत यात्रा के दौरान 2017 में हुए समझौता ज्ञापन केतहत रेडुइट में सिविल सर्विस कॉलेज परियोजना को 4.74 मिलियन डॉलर की अनुदान सहायता के माध्यम से वित्तपोषित किया जा रहा है।
गौरतलब हैकि कोविड-19 चुनौतियों केबावजूद भारत-मॉरीशस विकास साझेदारी परियोजनाओं में तेजी से प्रगति हुई है। सिविल सर्विस कॉलेज परियोजना के पूरा होने केबाद यह मॉरीशस के अधिकारियों को विभिन्न प्रशिक्षण और कौशल विकास कार्यक्रम केलिए सुविधा प्रदान करेगा। यह भारत केसाथ संस्थागत संबंधों को और मजबूत बनाएगा। आठ मेगावाट सौर पीवी फार्म परियोजना केतहत सालाना लगभग 14 जीडब्ल्यूएच हरित ऊर्जा के उत्पादन केलिए 25,000 पीवी सेल की स्थापना की गई है, इससे लगभग 10,000 मॉरीशस परिवारों को बिजली की आपूर्ति की जाएगी तथा इससे हर साल 13,000 टन कार्बन डाईआक्साइड उत्सर्जन में कमी आएगी, इससे मॉरीशस को जलवायु परिवर्तन के प्रभावों को कम करने में मदद मिलेगी। द्विपक्षीय समझौतों में मेट्रो एक्सप्रेस एवं बुनियादी ढांचे से संबंधित अन्य परियोजनाओं केलिए भारत सरकार की ओर से 190 मिलियन अमेरिकी डॉलर की ऋण सहायता प्रदान करने संबंधी समझौता और लघु विकास परियोजनाओं के कार्यांवयन से जुड़ा समझौता भी प्रमुख है।