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Monday 3 April 2023 06:32:27 PM
नई दिल्ली। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु आज नई दिल्ली में इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय के 36वें दीक्षांत समारोह में शामिल हुईं और उसे संबोधित किया। राष्ट्रपति ने कहाकि कई विद्यार्थियों को उनके दायित्वों और परिस्थितियों के कारण उच्च शिक्षा प्राप्त करने में कठिनाई होती है, ऐसे विद्यार्थियों को शिक्षा प्रदान करने में इग्नू जैसे संस्थान अपनी अनुकरणीय भूमिका निभाते हुए सहायता कर रहे हैं। उन्होंने कहाकि कई नियोजित एवं स्वरोज़गार में संलग्न व्यक्ति अपने कौशल में वृद्धि केलिए इग्नू से शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं, ऐसे 'अर्जक और शिक्षार्थी' दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से शिक्षा प्राप्त करके अल्परोज़गार से बाहर आ सकते हैं। राष्ट्रपति ने कहाकि इस प्रकार दूरस्थ शिक्षा की व्यापक सामाजिक एवं आर्थिक उपयोगिता है, ऐसे विद्यार्थियों को दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से उच्च शिक्षा प्रदान करके इग्नू बहुत उपयोगी सेवा प्रदान कर रहा है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने इग्नू के दूर-दराज के क्षेत्रों, ग्रामीण क्षेत्रों और आर्थिक रूपसे कमजोर समूहों के विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा तक पहुंच कार्यक्रम की प्रशंसा की और कहाकि इग्नू के शैक्षणिक कार्यक्रमों में सुगमता की सहायता से कई विद्यार्थियों ने अपने काम, परिवार और अन्य दायित्वों का प्रबंधन करते हुए उच्च शिक्षा प्राप्त की है एवं शिक्षा के माध्यम से राष्ट्र निर्माण में इग्नू की उल्लेखनीय भूमिका है। उन्होंने कहाकि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अंतर्गत वर्ष 2035 तक उच्च शिक्षा में 50 प्रतिशत सकल नामांकन अनुपात प्राप्त करने का लक्ष्य रखा गया है, जिस लक्ष्य को प्राप्त करने में इग्नू महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है। राष्ट्रपति ने उपाधि पानेवाले मेधावी विद्यार्थियों बधाई देते हुए कहाकि आज आप सबको जो उपाधियां मिली हैं, वे आपकी कड़ी मेहनत और शिक्षा के प्रति आपके समर्पण एवं प्रतिबद्धता का प्रतीक हैं। उन्होंने कहाकि ख़ुशी की बात हैकि आज बहुत बड़ी संख्या में विद्यार्थियों ने अपने जीवन और करियर का एक महत्वपूर्ण लक्ष्य प्राप्त किया है, यह अवसर उनके साथ-साथ उनके शिक्षकों और अभिभावकों केलिए भी बहुत महत्वपूर्ण है।
राष्ट्रपति ने कहाकि डिग्री या सर्टिफिकेट से उन सबके लिए जीवन में आगे बढ़ने के नए रास्ते भी खुलते हैं। उन्होंने कहाकि इग्नू के पूर्व छात्र सिविल सर्विसेज, समाज सेवा, कला और संस्कृति तथा खेल-कूद समेत, विभिन्न क्षेत्रों में अपना योगदान दे रहे हैं। उन्होंने कहाकि उन्हें बताया गया हैकि खुली शिक्षा के माध्यम से शिक्षा प्राप्त करके आज कई सिविल सेवक देश के प्रशासन में भी अहम भूमिका निभा रहे हैं। द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि उन्हें यह जानकर प्रसन्नता हैकि आज डिग्री डिप्लोमा और सर्टिफिकेट प्राप्त कररहे लगभग 280000 विद्यार्थियों में महिला छात्रों की संख्या 55 प्रतिशत के करीब है और शिक्षा सहित विभिन्न क्षेत्रों में महिलाओं की निरंतर उन्नति को देखकर उन्हें बहुत खुशी है। उन्होंने कहाकि उन्हें बताया गया हैकि वर्तमान में 35 लाख से अधिक विद्यार्थी इग्नू से शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं, इसमें 40 अन्य देशों के विद्यार्थी भी शामिल हैं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि शिक्षा की ज्योति से अंधकार में प्रकाश फैलता है और यह जानकर विशेष खुशी हुई हैकि हजारों जेल के कैदी भी इग्नू से शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं, यह शिक्षा जेल के कैदियों के पुनर्वास तथा कारावास से निकलने केबाद एक बेहतर जिंदगी शुरू करने में उनके लिए सहायक होगी। राष्ट्रपति ने कहाकि शिक्षा की धारा निराशा में आशा का संचार करती है तथा जीवन में आगे बढ़ने की योग्यता प्रदान करती है। उन्होंने कहाकि उच्च शिक्षा से जुड़े प्रत्येक व्यक्ति केलिए यह प्रसन्नता की बात हैकि बड़ी संख्या में दिव्यांग विद्यार्थी भी इग्नू से शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं। राष्ट्रपति को जानकारी दी गईकि इग्नू के शिक्षक स्वयं प्रभा चैनलों और अन्य ऑनलाइन माध्यमों से हिंदी और अंग्रेजी के अतिरिक्त अनेक भारतीय भाषाओं में शिक्षा प्रदान कर रहे हैं।