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सरकार ने शुरू किया वैभव फैलोशिप कार्यक्रम

प्रवासी भारतीय देश के शैक्षिक एवं शोध विकास संस्थानों से जुड़ेंगे

कॉल फॉर प्रपोजल के माध्यम से 31 जुलाई तक आवेदन आमंत्रित

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Thursday 15 June 2023 05:45:04 PM

vaibhav fellowship (file photo)

नई दिल्ली। भारत सरकार ने विज्ञान और प्रौद्योगिकी के अग्रणी क्षेत्रों में ज्ञान, बुद्धिमत्ता एवं सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करने केलिए सहयोगी अनुसंधान कार्य में प्रवासी भारतीयों को देश के शिक्षण और अनुसंधान एवं विकास संस्थानों केसाथ जोड़ने केलिए नया वैभव फैलोशिप कार्यक्रम शुरू किया है। विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अंतर्गत आनेवाले विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के कार्यांवित किए जाने वाले वैश्विक भारतीय वैज्ञानिक (वैभव) फैलोशिप कार्यक्रम में भारतीय मूल के उत्कृष्ट वैज्ञानिको व प्रौद्योगिकीविदों को सम्मानित किया जाएगा, जो अपने संबंधित देशों में अनुसंधान कार्यों में लगे हुए हैं। चयनित 75 फेलो को क्वांटम प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य, फार्मा, इलेक्ट्रॉनिक्स, कृषि, ऊर्जा, कंप्यूटर विज्ञान और सामग्री विज्ञान सहित 18 पहचाने गए ज्ञान कार्यक्षेत्र में काम करने केलिए आमंत्रित किया जाएगा। पहले बुलावे केलिए आज से 31 जुलाई 2023 तक कॉल फॉर प्रपोजल के माध्यम से आवेदन आमंत्रित किए जा रहे हैं।
गौरतलब हैकि भारत सरकार ने प्रवासी भारतीयों को देश के शैक्षिक और शोध विकास संस्थानों से जोड़ने केलिए वैभव शिखर सम्मेलन का आयोजन किया था, जिसका उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया था, इसमें 25000 से ज्यादा लोगों ने हिस्सा लिया था और 70 से ज्यादा देशों के भारतीय प्रवासियों ने इसमें विचार-विमर्श किया था। सरकार ने विज्ञान, अनुसंधान एवं नवाचार को बढ़ावा देने की दिशा में अनेक उपाय किए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैभव शिखर सम्मेलन में कहा थाकि सामाजिक एवं आर्थिक परिवर्तन लाने की हमारी कोशिशों के मूल में विज्ञान है। यह फैलोशिप कार्यक्रम, वैभव फैलोशिप कार्यक्रम को आकार देने एवं उसको लागू करने की कोशिशों को बढ़ाने वाले एक कदम के रूपमें शुरू किया गया है, जिसमें भारतीय उच्चशिक्षा संस्थानों, विश्वविद्यालयों और सार्वजनिक वित्तपोषित वैज्ञानिक संस्थानों केसाथ भारतीय डायस्पोरा के वैज्ञानिकों केबीच सहयोग की परिकल्पना भी की गई है।
वैभव फेलो सहयोग केलिए एक भारतीय संस्थान की पहचान करेंगे और एक वर्ष में दो माह और अधिकतम तीन वर्ष तक उससे संबद्ध रह सकते हैं। इस फैलोशिप में फैलोशिप अनुदान 400000 रुपये प्रतिमाह, अंतर्राष्ट्रीय और घरेलू यात्रा, आवास और आकस्मिक व्यय शामिल है। वैभव फेलो से उम्मीद की जाती हैकि वे अपने भारतीय समकक्षों केसाथ सहयोग करेंगे और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी के अत्याधुनिक क्षेत्रों में उस संस्थान में अनुसंधान गतिविधियां शुरू करने में मदद करेंगे, जिससे वह संबद्ध हैं। आवेदक www.dst.gov.in या www.onlinedst.gov.in वेबसाइट पर जाकर प्रस्ताव प्रारूप को डाउनलोड कर सकते हैं और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के ई-पीएमएस पोर्टल के माध्यम से पूर्ण आवेदनपत्र और सभी प्रासंगिक जानकारी जमा कर सकते हैं।

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