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Tuesday 24 May 2022 04:55:30 PM
टोक्यो। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति जोसेफ आर बाइडेन ने आज टोक्यो में गर्मजोशी से मिले और उनके बीच द्विपक्षीय बैठक हुई, जो दोनों शीर्ष राजनेताओं केबीच नियमित उच्चस्तरीय बातचीत की निरंतरता का प्रतीक थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति जो बाइडेन की सितंबर 2021 में वाशिंगटन डीसी में व्यक्तिगत मुलाकात हुई थी और उसके बाद जी20 और सीओपी26 शिखर सम्मेलन में बातचीत की थी। हाल हीमें 11 अप्रैल 2022 को उनके बीच वर्चुअल बातचीत भी हुई थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर कहाकि हमारा आपसी विश्वास लोकतांत्रिक देशों को नई ऊर्जा दे रहा है। उन्होंने कहाकि भारत-अमेरिका व्यापक रणनीतिक वैश्विक साझेदारी लोकतांत्रिक मूल्यों, कानून के शासन और नियम आधारित अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था को बनाए रखने की साझा प्रतिबद्धता पर आधारित है। दोनों राजनेताओं ने द्विपक्षीय एजेंडा में सभी क्षेत्रों में हुई प्रगति पर प्रसन्नता व्यक्त की और कहाकि इस महत्वपूर्ण बातचीत से हमारी द्विपक्षीय साझेदारी और प्रगाढ़ तथा गतिमान हो गई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति जो बाइडेन ने भारत-अमेरिका केबीच निवेश प्रोत्साहन समझौता होने का स्वागत किया है, जो यूएस डेवलपमेंट फाइनेंस कॉरपोरेशन को साझा प्राथमिकता वाले क्षेत्रों जैसे-सम्पूर्ण स्वास्थ्य, नवीकरणीय ऊर्जा, एसएमई, बुनियादी ढांचा आदि में भारत में निवेश सहायता प्रदान करना जारी रखने में सक्षम बनाता है। दोनों पक्षों ने भारत-अमेरिका परिणामोन्मुखी सहयोग को सुविधाजनक बनाने केलिए महत्वपूर्ण और उभरती प्रौद्योगिकियों पर पहल की शुरुआत की है। उनका कहना हैकि भारत में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद सचिवालय और यूएस नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल के सहनेतृत्व में आईसीईटी एआई, क्वांटम कंप्यूटिंग, 5जी/6जी, बायोटेक, अंतरिक्ष और सेमीकंडक्टर जैसे क्षेत्रों में दोनों देशों की सरकारों केबीच शिक्षा और उद्योग में घनिष्ठ संबंध स्थापित होंगे। दोनों राजनेताओं ने कहाकि रक्षा और सुरक्षा सहयोग भारत-अमेरिका द्विपक्षीय एजेंडा का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है, वे सहयोग को और कैसे मजबूत कर सकते हैं। इस संदर्भ में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत केतहत भारत में निर्माण करने केलिए अमेरिकी उद्योग को भारत केसाथ साझेदारी करने केलिए आमंत्रित किया, जो दोनों देशों केलिए परस्पर लाभकारी होगा।
भारत और अमेरिका ने स्वास्थ्य क्षेत्र में अपने बढ़ते सहयोग को आगे ले जाते हुए संयुक्त जैव चिकित्सा अनुसंधान को जारी रखने केलिए लंबे समय से चले आ रहे वैक्सीन एक्शन प्रोग्राम को 2027 तक बढ़ा दिया है, जिसके परिणामस्वरूप टीकों और संबंधित तकनीकों का विकास हुआ है। दोनों देशों के लोगों केबीच संपर्क को मजबूत करने केलिए प्रधानमंत्री ने उच्चशिक्षा सहयोग को मजबूत करने का आह्वान किया, जो पारस्परिक लाभ का हो सकता है। दोनों राजनेताओं ने एक स्वतंत्र, खुले और समावेशी हिंद-प्रशांत क्षेत्र केलिए अपने साझा दृष्टिकोण की पुष्टि करते हुए दक्षिण एशिया और हिंद-प्रशांत क्षेत्र सहित पारस्परिक हित के क्षेत्रीय मुद्दों पर विचारों का आदान-प्रदान किया। प्रधानमंत्री ने समृद्धि केलिए इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क के शुभारंभ का स्वागत किया और कहाकि भारत संबंधित राष्ट्रीय परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए एक लचीले और समावेशी आईपीईएफ को आकार देने केलिए सभी भागीदार देशों केसाथ मिलकर काम करने केलिए तैयार है। दोनों राजनेताओं ने भारत-अमेरिका साझेदारी को उच्चस्तर पर लेजाने के अपने साझा दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने पर सहमति व्यक्त की।