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Friday 10 July 2015 11:03:17 AM
लखनऊ। गोवा की राज्यपाल मृदुला सिन्हा ने कहा है कि सिविल सोसाइटीज़ अर्थात नागर समाज का स्वच्छता से उसी प्रकार का संबंध है, जैसे मनुष्य का उसके श्वास और प्राण का संबंध होता है। एनबीआरआई लखनऊ के केएल कौल सभागार में नेशनल एलाइंस फॉर स्वच्छ भारत एवं उसकी सहयोगी स्वयंसेवी संस्थाओं के नागर समाज के प्रति दायित्व एवं स्वच्छता अभियान पर एक प्रेरणाप्रद और शिक्षाप्रद विचार गोष्ठी में राज्यपाल मृदुला सिन्हा मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुईं। उन्होंने समाज के लोगों से स्वच्छता अभियान में बढ़-चढ़ कर हिस्सा लेने की अपील की और इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि देश के विकास में नागर समाज अपनी पूरी जिम्मेदारी और सक्रियता के साथ खड़ा है। लोकतंत्र के पांचवे स्तंभ कहे जाने वाले नागर समाज के दायित्व एवं स्वच्छता अभियान पर अन्य वक्ताओं ने भी विस्तारपूर्वक विचार-विमर्श किया। विचार गोष्ठी में स्वच्छता अभियान से जु़ड़े और इस क्षेत्र में सक्रिय होकर काम कर रहे लोगों की सहभागिता उल्लेखनीय रही।
राज्यपाल मृदुला सिन्हा ने सदैव की तरह समाज के लोगों को माता-पिता की स्वयं ही सेवा करने और उनको वृद्धा आश्रम में नहीं भेजने, घर से बाहर तक सार्वजनिक स्थान पर साफ-सफाई के प्रति लोगों को अनवरत जागरुक करने और उस पर अनिवार्य रूप से ध्यान देने, शादी के बंधन को निभाने की शपथ दिलाई। इस अवसर पर सिविल सोसाइटीज़ के लोगों ने राज्यपाल मृदुला सिन्हा का उन्हें फलों से लदीं बहुत सारी डलिया भेंट करके स्वागत किया। विचार गोष्ठी में उत्तर प्रदेश भाजपा के संगठन महामंत्री सुनील बंसल ने कहा कि देश के विकास के लिए देश के लोगों को स्वस्थ रहना एवं स्वच्छता को बढ़ावा देना और उसकी पहल करना बेहद जरूरी है। उन्होंने कहा कि स्वस्थ भारत के लिए स्वयं स्वच्छ होना सबसे पहली आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि यूनेस्को की एक रिपोर्ट है कि भारत के लोग अपनी कमाई का बहुत सारा पैसा बीमारी और इलाज में खर्च कर देते हैं, आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जो स्वच्छ भारत अभियान चलाया है, उसमें नागर समाज का योगदान बहुत महत्वपूर्ण है।
विचार गोष्ठी के वक्ता डॉ चंद्रशेखर प्राण ने नागर समाज क्या है, इसकी उत्पति और देश में उसके योगदान के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने कहा कि एनजीओ कानून अंग्रेजों के समय उनके उद्देश्यों को लेकर बना था, जिसमें परिवर्तन होना चाहिए। लखनऊ विश्वविद्यालय के पूर्व प्रोफेसर और चीफ प्राक्टर डॉ एएन सिंह ने सभी से सफाई प्रबंध स्वयं करने का आह्वान करते हुए कहा कि न केवल अपने घर के प्रसाधन की सफाई वे स्वयं करते हैं, अपितु उन्होंने बहुत सारे लोगों को इसके लिए प्रेरित भी किया और जब तक वे लखनऊ विश्वविद्यालय में रहे, उन्होंने छात्रों को सफाई अभियान से जोड़े रखा। उन्होंने इससे जुड़े अपने अनुभवों को भीनागर समाज से साझा किया। विचार गोष्ठी में मुख्य रूप से शत्रुघ्न सिंह, सर्वदमन त्यागी, डॉ मृदुल शुक्ला, गोकुलेश भारद्वाज, संजय गुप्ता, सुशील स्वामी, देशपाल, तेजप्रताप, सचिन त्यागी, संजीव दीक्षित आदि लोगों ने मुख्य अतिथि राज्यपाल मृदुला सिन्हा का फलों से स्वागत किया। बाद में इन फलों का अनाथ आश्रम में वितरण किया गया। विचार गोष्ठी का संचालन डॉ संदीप शाही ने किया।