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Saturday 30 October 2021 02:37:05 PM
अस्तनमार्ग (धारा)। केंद्रीय विधि और न्याय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा हैकि हर व्यक्ति का अधिकार है कि उसकी पहुंच न्याय तक हो। किरेन रिजिजू ने जम्मू-कश्मीर में अस्तनमार्ग (धारा) में एक कानूनी सेवा और जागरुकता शिविर के उद्घाटन कार्यक्रम में यह बात कही। शिविर का आयोजन जिला प्रशासन श्रीनगर के सहयोग से राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधान में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण श्रीनगर ने किया था। इस अवसर पर न्यायमूर्ति अली मोहम्मद माग्रे कार्यकारी अध्यक्ष जम्मू-कश्मीर कानूनी सेवा प्राधिकरण और राष्ट्रीय कानूनी सेवा प्राधिकरण के सदस्य उपस्थित थे। किरेन रिजिजू ने कहाकि सरकार का कर्तव्य समाज के विभिन्न वर्गों को न्याय प्रदान करना है और कानूनी सेवा प्राधिकरण भी इस संबंध में एक सराहनीय काम कर रहा है।
विधि और न्याय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहाकि हर व्यक्ति को न्याय दिलाने केलिए अदालतें लगातार प्रयास कर रही हैं, ताकि आम आदमी को घर के दरवाजे पर न्याय मिल सके। उन्होंने कहाकि जम्मू-कश्मीरवासियों को पेयजल, जल निकासी, सड़क, बिजली जैसी बुनियादी सुविधाओं का अधिकार है और भारत सरकार के आउटरीच कार्यक्रम उनकी विभिन्न समस्याओं के समाधान केलिए सीधे संपर्क करने के अवसर प्रदान करते हैं। उन्होंने कहाकि सरकार चाहती हैकि जम्मू-कश्मीर का प्रत्येक व्यक्ति लाभांवित हो और इस संबंध में कई पहलें की गईं और की जा रही हैं। शिविर में बागवानी, स्वास्थ्य, राजस्व, कृषि, युवा सेवा और खेल श्रम विभाग, वन और डीएलएसए श्रीनगर सहित विभिन्न विभागों के विभिन्न स्टालों को स्थापित किया गया था, जिसमें उनके संबंधित विभागों की विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं पर प्रकाश डाला गया।
न्याय मंत्री ने प्रत्येक स्टाल का निरीक्षण किया और प्रत्येक विभाग की गतिविधियों की जानकारी ली। उन्होंने समाज कल्याण विभाग के लाभार्थियों को 15 व्हील चेयर, 15 श्रवण यंत्र, 16 लोगों को विवाह सहायता प्रदान की, वहीं बागवानी विभाग की सब्सिडी दर पर एक बोरवेल और 50,000 रुपये के खादी सामग्री लाभार्थियों को प्रदान की, राजस्व विभाग के 35 अनुसूचित जनजाति प्रमाणपत्र और 50 अधिवास प्रमाण पत्र वितरित किए, कृषि विभाग के ट्रैक्टर, टिलर, बीज, मशरूम और ताजी सब्जियां, युवा सेवा एवं खेल विभाग के पंजीकृत क्लबों को 20 खेल किट, शिल्पकारों के 8 बच्चों को वित्तीय सहायता प्रदान की। हस्तशिल्प विभाग के पंजीकृत लाभार्थियों को 30 पंजीकरण प्रमाणपत्र, ग्रामीण विकास विभाग के 50 जॉब कार्ड, स्वास्थ्य विभाग के 25 गोल्ड कार्ड, कोविद-19 के बेसलाइन टेस्ट, टीकाकरण और जिला कानूनी सेवा प्राधिकरण श्रीनगर द्वारा 15 मामलों में कानूनी सहायता प्रदान की गई।
आदिवासियों के कानूनी अधिकार पर एक कानूनी जागरुकता कार्यक्रम भी आयोजित किया गया, जिसका उद्देश्य जागरुकता से सशक्तिकरण की ओर एक आदर्श बदलाव लाना था। शिविर में मोहम्मद अकरम चौधरी अध्यक्ष डीएलएसए (पीडीजे) श्रीनगर, एमके शर्मा सदस्य सचिव जम्मू-कश्मीर एलएसए, मोहम्मद एजाज उपायुक्त श्रीनगर, संदीप चौधरी वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, अचल सेठी कानून सचिव कानून न्याय और संसदीय मामलों के विभाग, नूर मोहम्मद मीर सचिव जिला कानूनी सेवा प्राधिकरण (उप-न्यायाधीश) श्रीनगर उपस्थित थे। इस दौरान विभागों के निदेशक और सचिव स्तर के अधिकारी, पीआरआई, डीडीसी, बीडीसी, सरपंच, पंच, पैनल वकील, पैरा लीगल वालंटियर, डीएलएसए श्रीनगर के कर्मचारी और लाभार्थी उपस्थित थे।