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'उत्तर-पूर्व का विकास विकसित भारत की कुंजी'

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का मिजोरम विधानसभा के सदस्यों को संबोधन

मिजोरम ने सभी मापदंडों पर उल्लेखनीय और अच्छा प्रदर्शन किया

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Friday 4 November 2022 05:09:02 PM

droupadi murmu addresses the members of the mizoram legislative assembly

आइजोल। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने आज मिजोरम विधानसभा सदस्यों को संबोधित करते हुए कहा हैकि भारत के उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के राज्य अपनी विविधता से समृद्ध हैं और आप उन लोगों में से हैं, जो पहले उगते सूरज को प्राप्त करते हैं और इस तरह बाकी भारतीयों से आगे हैं। राष्ट्रपति ने कहाकि पर्वतीय क्षेत्रों की भौगोलिक स्थिति विकास केलिए बहुत चुनौतीपूर्ण होती है, इसके बावजूद मिजोरम ने सभी मानकों पर विशेषकर मानव विकास के क्षेत्रमें उल्लेखनीय कार्य किए हैं। उन्होंने कहाकि मिजोरम विधानसभा ने इसवर्ष मई में अपनी स्वर्ण जयंती मनाई, यह लोकतंत्र को गहरा करने और विकास केलिए लोगों की अपेक्षाओं को पूरा करने केलिए कड़ी मेहनत करने की आधी सदी रही है। उन्होंने कहाकि इस सदन के भूतपूर्व और वर्तमान सदस्यों ने लोगों की आवाज़ को अभिव्यक्ति देनेका भरसक प्रयास किया है, वे नागरिकों के सच्चे प्रतिनिधि रहे हैं और सांसदों के रूपमें अपने कर्तव्य को पूरा करते हुए हमेशा राज्य के बड़े हितों को सर्वोपरि रखा है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहाकि उन्हें यह जानकर खुशी हैकि पिछले कई दशक से और हाल के वर्षों में राज्य इसी आत्मविश्वास से इस रास्ते पर और तेजीसे बढ़ रहा है। उन्होंने कहाकि वर्ष 1987 में पूर्णराज्य का दर्जा हासिल करने केबाद मिजोरम ने पीछे मुड़कर नहीं देखा और पहाड़ी क्षेत्र की स्थलाकृति विकास केलिए विशेष चुनौतियां प्रस्तुत करती है, फिरभी मिजोरम ने सभी मानकों पर अच्छा प्रदर्शन किया है। उन्होंने कहाकि विश्वपटल पर भारत का कद बढ़ा है और मिजोरम एवं शेष उत्तर-पूर्व क्षेत्रका विकास राष्ट्रको अधिक से अधिक ऊंचाइयों पर लेजाने की कुंजी है। उन्होंने कहाकि हमारे पड़ोसियों केसाथ हमारे संबंध विशेष रूपसे दक्षिण-पूर्व एशिया में हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं, हमारी 'एक्ट ईस्ट पॉलिसी' एशिया-प्रशांत क्षेत्रमें विस्तारित पड़ोस केसाथ हमारे संबंधों में सुधार केलिए उत्तर-पूर्व पर जोर देती है। उन्होंने कहाकि मिजोरम में सभी भारतीय राज्यों में सबसे अधिक वन क्षेत्र हैं, जो असाधारण और समृद्ध जैवविविधता केलिए एक आदर्श घर प्रदान करता है और हिमालय की नाजुक पारिस्थितिकी, वनस्पति एवं जीव हमारी अमूल्य विरासत हैं, हमें आने वाली पीढ़ियों केलिए इनका संरक्षण करना चाहिए।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहाकि मिजोरम विधानसभा ने लोगों की समस्याओं का समाधान खोजने में एक प्रभावी साधन के रूपमें बहस, स्वस्थ चर्चा और आपसी सम्मान का एक मॉडल विकसित किया है। उन्होंने कहाकि चूंकि शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधा सुशासन के दो महत्वपूर्ण स्तंभ हैं, इसलिए नीति निर्माताओं और प्रशासकों ने इन दोनों सेक्टरों में सुविधाओं में सुधार करने पर जोर दिया है। उन्होंने कहाकि ऐसे क्षेत्रकी क्षमता की पहचान करनेमें कनेक्टीविटी सबसे बड़ा घटक होती है, ग्रामीण सड़कों, राजमार्गों और पुलों केविकास से न केवल शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधा के लक्ष्यों को प्राप्त करनेमें मदद मिलती है, बल्कि इसके जरिए आर्थिक अवसर भी सामने आते हैं। राष्ट्रपति ने कहाकि यह नई प्रौद्योगिकी का युग है, जिसका उपयोग कुशलतापूर्वक लोगोंकी सेवा करनेमें किया जारहा है। उन्होंने सलाह दीकि आधुनिक तौर-तरीकों को अपनाने केसाथ हमें अपनी जड़ों सेभी जुड़ा रहना चाहिए।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहाकि मिजोरम एक जनजाति बहुल राज्य है, इसलिए वह अपने अतीत पर दृष्टिपात करे और पूर्व आधुनिककाल की जो बेहतर शासनपद्धति नज़र आए, उसे समकालीन प्रणालियों में शामिल करके पुनर्जीवित करे। राष्ट्रपति ने कहाकि वर्ष बीतने केसाथ इस सदन नेभी बहस करने की प्रणाली विकसित की तथा स्वस्थ चर्चा और आपसी सम्मान की भावना केसाथ काम करते हुए लोगों की समस्याओं का समाधान करने का रास्ता निकाला है। राष्ट्रपति ने इस बात पर हर्ष व्यक्त कियाकि मिजोरम विधानसभा ने नेशनल ई-विधानसभा एप्लीकेशन अपनाकर डिजिटल रूपसे कामकाज करने में अग्रणी भूमिका निभाई है। उन्होंने कहाकि मिजोरम में महिलाए जीवन के हरक्षेत्र में शक्तिसम्पन्न हैं, चाहे वह खेल हो, संस्कृति या व्यापार का क्षेत्र हो। राष्ट्रपति ने इसबात पर जोर दियाकि सार्वजनिक जीवन में और खासतौर से विधायिका के क्षेत्रमें महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ना चाहिए।
राष्ट्रपति ने कहाकि विश्वमंच पर भारत के बढ़ते प्रभाव को देखते हुए हमारी जिम्मेदारियां भी बढ़ रही हैं, उदाहरण केलिए जलवायु परिवर्तन पर हमारी कार्रवाई को समर्थन दिया जा रहा है, हम इसमें नेतृत्व कर रहे हैं और हमने विश्व को दिखा दिया हैकि पर्यावरण बिगड़ने के दुष्प्रभावों का सामना करने का क्या तरीका सबसे बेहतर है। उन्होंने कहाकि नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों को प्रोत्साहन देने की हमारी अनेक पहलों ने दुनियाभर में हमारा मान बढ़ाया है, इसलिए हमें एक नागरिक होने, नीति-निर्माता के रूपमें विधिक कार्य या प्रशासनिक क्षेत्रमें काम करने की हैसियत से हमें धरती के घावों को भरने की कोशिश करनी चाहिए। राष्ट्रपति ने कहाकि मिज़ोरम राज्य पर प्रकृति मां का आशीर्वाद है और इसके लोग भी अद्भुत हैं, राष्ट्रपति के रूपमें पहलीबार मिज़ोरम का दौरा करना मेरी लिए खुशी क्षण है और गर्मजोशी से किए गए स्वागत केलिए मिज़ोरम सरकार और नागरिकों का धन्यवाद किया।

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