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Friday 11 November 2022 05:03:28 PM
बेंगलुरु। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्टार्टअप की दुनियामें भारत की उल्लेखनीय पहचान पर कहा हैकि बेंगलुरु इस पहचान को परिभाषित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है, बेंगलुरु भारत की स्टार्टअप भावना का प्रतिनिधित्व करता है और यह वह भावना है, जो देशको दुनियाके बाकी हिस्सों से अलग करती है। भीम यूपीआई और मेड इन इंडिया 5जी तकनीक का उदाहरण देते हुए प्रधानमंत्री ने कहाकि बेंगलुरू के पेशेवरों ने इस दूर के सपने को हकीकत में बदल दिया है। प्रधानमंत्री ने कहाकि 2014 से पहले हम इस तरह के सकारात्मक बदलाव कल्पना से परे थे, क्योंकि पिछली सरकार की विचार प्रक्रिया पुरानी थी, पिछली सरकारों ने गति को विलासिता के रूपमें और पैमाने को जोखिम के रूपमें माना, हमारी सरकार ने इस प्रवृत्ति को बदल दिया है और हम गति को आकांक्षा एवं पैमाने को भारत की शक्ति मानते हैं। प्रधानमंत्री ने आज बेंगलुरु में विधानसौध में संतकवि श्रीकनक दास और महर्षि वाल्मीकि की प्रतिमाओं पर पुष्पांजलि अर्पित की। उन्होंने केएसआर रेलवे स्टेशन पर वंदे भारत एक्सप्रेस और भारत गौरव काशी दर्शन ट्रेन को हरी झंडी दिखाई, केम्पेगौड़ा अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे बेंगलुरु के टर्मिनल 2 का उद्घाटन और श्रीनादप्रभु केम्पेगौड़ा की 108 फीट लंबी कांस्य प्रतिमा का भी अनावरण किया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक सार्वजनिक समारोह को संबोधित करते हुए कहाकि आज कर्नाटक को पहली मेड इन इंडिया वंदे भारत ट्रेन मिल गई है, जो चेन्नई, स्टार्टअप राजधानी बेंगलुरु और विरासत शहर मैसूर को जोड़ती है। उन्होंने कहाकि भारत गौरव काशी दर्शन ट्रेन, जो कर्नाटक के लोगों केलिए अयोध्या, काशी और प्रयागराज दर्शन को सक्षम बनाएगी का भी शुभारंभ किया गया है। बेंगलुरू में केमेपगौड़ा अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के टर्मिनल 2 के बारेमें प्रधानमंत्री ने टिप्पणी कीकि बुनियादी ढांचा साझा कीगई तस्वीरों की तुलना में अधिक सुंदर और शानदार है। उन्होंने कहाकि यह कार्यक्रम बेंगलुरु की युवा भावना का प्रतिबिंब है। उन्होंने कहाकि वंदे भारत सिर्फ एक ट्रेन नहीं, बल्कि नए भारत की एक नई पहचान है, वंदे भारत एक्सप्रेस एक प्रतीक हैकि भारत ने अब ठहराव के दिनोंको पीछे छोड़ दिया है, हम भारतीय रेलवे के संपूर्ण परिवर्तन के लक्ष्य के साथ आगे बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहाकि करीब 400 से अधिक वंदे भारत ट्रेनें और विस्टा डोम कोच भारतीय रेलवे की नई पहचान बन रहे हैं, डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर से माल ढुलाई की गति बढ़ेगी और समय की बचत होगी, रैपिड ब्रॉड गेज रूपांतरण रेलवे के नक्शे पर नए क्षेत्रों को ला रहा है।
रेलवे स्टेशनों के आधुनिकीकरण के बारेमें प्रधानमंत्री ने कहाकि सर एम विश्वेश्वरैया टर्मिनल बेंगलुरु रेलवे स्टेशन यात्रियों को एक बेहतर अनुभव प्रदान कर रहा है। उन्होंने बतायाकि कर्नाटक सहित अन्य स्टेशनों का अपग्रेडेशन किया जारहा है। विकसित भारत के विजन पर प्रधानमंत्री ने कहाकि शहरों केबीच संपर्क महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और यह समय की मांग भी है। प्रधानमंत्री ने कहाकि केमेपेगौड़ा हवाई अड्डे के नए टर्मिनल 2 में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने केलिए नई सुविधाएं और सेवाएं शामिल की गई हैं। उन्होंने कहाकि हवाई यात्रा के मामले में भारत दुनिया के सबसे तेजीसे बढ़ते बाजारों में से एक है और हवाई यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या भी तेजीसे बढ़ रही है। उन्होंने बतायाकि 2014 से पहले देशमें केवल 70 हवाई अड्डे थे, लेकिन आज यह संख्या दोगुनी होकर 140 से अधिक हो गई है। प्रधानमंत्री ने कहाकि हवाई अड्डे व्यवसायों के विस्तार केलिए एक नया खेल मैदान बना रहे हैं, साथही युवाओं केलिए रोज़गार के नए अवसर भी पैदा कर रहे हैं। उन्होंने कहाकि पूरी दुनिया ने भारत केप्रति जो विश्वास और आकांक्षाएं दिखाई हैं, उनका कर्नाटक लाभ उठा रहा है। प्रधानमंत्री ने कर्नाटक में 4 लाख करोड़ रुपये के निवेश पर सभीका ध्यान आकर्षित किया, जो तब हुआ जब दुनिया कोविड महामारी से जूझ रही थी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि कर्नाटक ने देशमें प्रत्यक्ष विदेशी निवेश को आकर्षित करने का मार्ग प्रशस्त किया है, यह निवेश केवल आईटी क्षेत्र तकही सीमित नहीं है, बल्कि जैव प्रौद्योगिकी से लेकर रक्षा तक है। उन्होंने बतायाकि भारत के विमान और अंतरिक्ष, शिल्प उद्योग में कर्नाटक का 25 प्रतिशत हिस्सा है। उन्होंने कहाकि भारत की रक्षा केलिए बने लगभग 70 प्रतिशत विमान और हेलीकॉप्टर कर्नाटक में निर्मित होते हैं। नरेंद्र मोदी ने कहाकि फॉर्च्यून 500 सूची मेसे 400 से अधिक कंपनियां कर्नाटक में काम कर रही हैं, राज्य में इतनी जबरदस्त वृद्धि केलिए कर्नाटक की डबल इंजन सरकार को श्रेय दिया। उन्होंने कहाकि शासन हो या भौतिक और डिजिटल बुनियादी ढांचे का विकास भारत पूरी तरह से अलग स्तरपर काम कर रहा है। प्रधानमंत्री ने गतिशक्ति मास्टर प्लान पर कहाकि सरकार ने सभी विभागों और एजेंसियों को एक मंच पर लाने के प्रयास किए और इसके परिणामस्वरूप विभिन्न एजेंसियों को पंद्रह सौ से अधिक स्तर के डेटा उपलब्ध कराए जा रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि केंद्र और राज्य सरकारों के कई मंत्रालयों के साथ दर्जनों विभाग इस मंच की मदद से एक साथ आ रहे हैं। उन्होंने कहाकि भारत इंफ्रास्ट्रक्चर निवेश पाइपलाइन में 110 लाख करोड़ रुपये के लक्ष्य की दिशामें काम कर रहा है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय रसद नीति के बारेमें कहाकि यह देशमें परिवहन की लागत को कम करने केसाथ इसे नवाचार करने मेभी मदद करेगा, विभिन्न एजेंसियों को डेटा की पंद्रह सौ से अधिक परतें उपलब्ध कराई जा रही हैं। उन्होंने कहाकि केंद्र और राज्य सरकारों के कई मंत्रालयों केसाथ दर्जनों विभाग इस मंच की मदद से एकसाथ आ रहे हैं। उन्होंने देशकी विरासत पर गर्व करने के बारेमें लालकिले से अपने संबोधन को याद करते हुए कहाकि हमारी विरासत सांस्कृतिक होने के साथ-साथ आध्यात्मिक भी है। उन्होंने बतायाकि भारत गौरव रेल आस्था और अध्यात्म के स्थानों को जोड़ने केसाथ-साथ एक भारत श्रेष्ठ भारत की भावना कोभी मजबूत कर रही है। उन्होंने बतायाकि इस ट्रेन की अबतक देश के अलग-अलग हिस्सों में इस तरह की 9 यात्राएं पूरी की जा चुकी हैं, शिरडी मंदिर, श्रीरामायण यात्रा या दिव्यकाशी यात्रा हो, ऐसी सभी ट्रेनें यात्रियों केलिए बहुत सुखद अनुभव रही हैं। उन्होंने कहाकि कर्नाटक से काशी, अयोध्या और प्रयागराज की यात्रा जो आज से शुरू हुई है, कर्नाटक के लोगों को काशी और अयोध्या की यात्रा करने में मदद करेगी।
प्रधानमंत्री ने कनक दासजी के स्थापित मोटे अनाज के महत्व की ओरभी सभी का ध्यान आकर्षित किया। प्रधानमंत्री ने कहाकि यह कर्नाटक में सबसे अधिक पसंद किए जानेवाले बाजरा 'रागी' का उदाहरण देते हुए सामाजिक समानता का संदेश देता है। प्रधानमंत्री ने नादप्रभु केमेपेगौड़ा की स्मारकीय प्रतिमा पर भी प्रकाश डाला और कहाकि यह बेंगलुरु एवं भविष्य के भारत के निर्माण केलिए एक प्रेरणा के रूपमें कार्य करेगी। प्रधानमंत्री ने कहाकि बेंगलुरू का विकास नादप्रभु केम्पेगौड़ा की कल्पना के अनुसार किया जाना चाहिए। उन्होंने कहाकि इस शहर की बसावट यहां के लोगों केलिए केम्पेगौड़ाजी का बहुत बड़ा योगदान है। प्रधानमंत्री ने कहाकि वाणिज्य और संस्कृति की बात आती है तो बेंगलुरू के लोगों की सुविधा केलिए सदियों पहले बनाई गई अनूठी बारीकियों उल्लेखनीय हैं। उन्होंने कहाकि बेंगलुरू के लोगों को अभीभी उनके विजन का लाभ मिल रहा है। उन्होंने बतायाकि भलेही व्यवसाय आज बदल गए हों, 'पीट' (बेंगलुरु का एक क्षेत्र) अभीभी बेंगलुरु की व्यावसायिक जीवनरेखा बना हुआ है।
बंगलौर की संस्कृति को समृद्ध करने में नादप्रभु केम्पेगौड़ा के योगदान पर प्रधानमंत्री ने प्रसिद्ध गवी गंगाधरेश्वर मंदिर और बसवनगुडी क्षेत्रमें मंदिर का उदाहरण दिया। उन्होंने कहाकि इनके माध्यम से केम्पेगौड़ाजी ने बैंगलोर की सांस्कृतिक चेतना को हमेशा जीवित रखा है। प्रधानमंत्री ने कहाकि बैंगलोर एक अंतर्राष्ट्रीय शहर है और हमें अपनी विरासत को संरक्षित करते हुए इसे आधुनिक बुनियादी ढांचे से समृद्ध करना होगा, यह सब सबका प्रयास से ही संभव है। कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई, कर्नाटक के राज्यपाल थावर चंद गहलोत, कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा, केंद्रीय संसदीय कार्यमंत्री प्रह्लाद जोशी और रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव, केंद्रीय राज्यमंत्री शोभा करंदलाजे, केंद्रीय आईटी मंत्री राजीव चंद्रशेखर, ए नारायणस्वामी और भगवंत खुबा, सांसद बीएन बचे गौड़ा, आदिचुंचनगीर मठ के स्वामी डॉ निर्मलनंदनाता स्वामीजी, कर्नाटक सरकार के मंत्री और गणमान्य नागरिक इस अवसर पर उपस्थित थे।