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'प्रत्येक आयकरदाता देश की प्रगति में भागीदार'

'राजस्व संग्रह निष्पक्ष, कुशल और पारदर्शी तरीके से किया जाए'

राष्ट्रपति का भारतीय राजस्व सेवा के ट्रेनी अफसरों को संबोधन

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Tuesday 4 March 2025 03:15:55 PM

president's address to trainee officers of indian revenue service

नई दिल्ली। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से आज भारतीय राजस्व सेवा के 78वें बैच के प्रशिक्षु अधिकारियों ने राष्ट्रपति भवन में भेंट की। राष्ट्रपति ने प्रशिक्षु अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहाकि देश की प्रतिष्ठित सेवा के अधिकारी के रूपमें उनकी यात्रा अपार अवसरों और चुनौतियों से भरी होगी एवं भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारियों का कार्य शासन और जनकल्याण केलिए सबसे महत्वपूर्ण कार्यों में से एक है। उन्होंने जीवंत अर्थव्यवस्था केलिए कर के महत्व का उल्लेख किया और कहाकि भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारियों के रूपमें वे यह सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगेकि राजस्व को निष्पक्ष, प्रभावी और पारदर्शी तरीके से एकत्र किया जाए। राष्ट्रपति ने कहाकि देश में बुनियादी ढांचा और अधिक मजबूत हो रहा है, डिजिटल कनेक्टिविटी अंतर को दूर कर रही है और आर्थिक अवसर पहले से कहीं अधिक सुलभ हैं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि विकास को स्थायी और समावेशी बनाने केलिए संसाधनों का प्रबंधन दक्षता और निष्पक्षता केसाथ किया जाना चाहिए, ताकि नागरिकों को व्यवस्था पर भरोसा हो। राष्ट्रपति ने अधिकारियों से कहाकि उनकी भूमिका महत्वपूर्ण है, क्योंकि वे इस प्रक्रिया की देखरेख करेंगे, ताकि यह सुनिश्चित हो सकेकि हर किसी केसाथ सम्मानपूर्वक व्यवहार हो और हर कोई अपनी वैध क्षमता के अनुसार योगदान दे। उन्होंने कहाकि आयकर विभाग ने प्रक्रियाओं को सरल और विश्वसनीय बनाने के कारगर प्रयास किए हैं, कुछ साल पहले कर प्रशासन केसाथ बातचीत करना एक अलग अनुभव था, कई प्रक्रियाएं व्यापक कागजी कार्रवाई केसाथ मैनुअल थीं और करदाताओं को अक्सर अपने दायित्वों को पूरा करने केलिए व्यक्तिगत रूपसे कार्यालयों में जाना पड़ता था। राष्ट्रपति ने कहाकि बदलते समय, बढ़ती अपेक्षाओं और सरकारी पहलों ने अधिक दक्षता, पारदर्शिता और सुविधा के युग का शुभारंभ किया है। उन्होंने कहाकि उन्हें यह जानकर खुशी हुईकि आयकर विभाग केवल कर संग्रहकर्ता के रूपमें देखे जानेसे विकसित होकर स्वैच्छिक अनुपालन का सूत्रधार, आर्थिक प्रगति में भागीदार और पारदर्शी शासन का प्रतीक बन गया है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि डिजिटल तकनीक इस बदलाव के मूल में है और उन्हें यह जानकर प्रसन्नता हैकि आयकर विभाग उल्लेखनीय सटीकता केसाथ विसंगतियों का पता लगाने केलिए उन्नत डेटा विश्लेषणों का उपयोग करता है और सुनिश्चित करता हैकि ईमानदार करदाताओं को असुविधा का सामना न करना पड़े। उन्होंने अधिकारियों को यह याद रखने कीभी सलाह दीकि तकनीक सिर्फ एक उपकरण है और यह मानवीय मूल्यों का विकल्प नहीं है। उन्होंने कहाकि डेटा संचालित प्रणालियां दक्षता बढ़ाती हैं, लेकिन वे कभीभी सहानुभूति और अखंडता की जगह नहीं ले सकतीं। उन्होंने अधिकारियों से कहाकि उनकी नीतियों और कार्यों का उद्देश्य सभीका विशेष रूपसे वंचितों और कमजोर वर्गों का विकास होना चाहिए। गौरतलब हैकि भारतीय राजस्व सेवा के 78वें बैच के अधिकारी प्रशिक्षुओं में रॉयल भूटान सेवा के दो अधिकारी प्रशिक्षु भी शामिल हैं, ये सभी राष्ट्रीय प्रत्यक्ष कर अकादमी नागपुर में प्रारंभिक प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे हैं।

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