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Tuesday 5 April 2016 01:18:34 AM
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने लखनऊ विश्वविद्यालय में पहली बार विश्वविद्यालय सभा की अध्यक्षता की। राज्यपाल ने कहा कि पूर्व में यहां यह जरूर परंपरा रही है कि कुलाधिपति विश्वविद्यालय सभा की अध्यक्षता करने के लिए कुलपति को अधिकृत कर दिया करते थे, मगर अध्यक्ष के रूप में स्वयं जाकर देखने से विश्वविद्यालय की कार्य प्रणाली के बारे में और अधिक जानकारी मिलती है, इसलिए उन्होंने इस परंपरा के बाहर जाकर विश्वविद्यालय सभा की अध्यक्षता की है। उल्लेखनीय है कि पिछले 25-30 वर्ष में इस बार ऐसा पहली बार हुआ है कि किसी राज्यपाल ने विश्वविद्यालय सभा की बैठक की अध्यक्षता की है। राज्यपाल ने कहा कि विश्वविद्यालयों में काफी काम हुआ है, तथापि और सुधार की आवश्यकता है, जिसके लिए वे प्रयासरत हैं।
राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि वे राज्य के 25 विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति हैं, उनका अब तक तीन कुलपति सम्मेलनों में विश्वविद्यालयों से संबंधित विभिन्न विषयों पर विचार-विनिमय हुआ है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालयों में शैक्षिक गुणवत्ता बढ़ाने के लिए सफल प्रयोग हुए हैं, परीक्षाएं समय पर हो रही हैं, नकलविहीन परीक्षाओं एवं समय से परीक्षा परिणाम के लिए भी उचित दिशा-निर्देश दिए गये हैं। राम नाईक ने बताया कि 25 में से 3 विश्वविद्यालय ऐसे हैं कि जिनके छात्र उपाधि प्राप्त करने के स्तर तक नहीं पहुंच पाए हैं, शेष 22 विश्वविद्यालयों में से 21 में दीक्षांत समारोह हो चुके हैं और डॉ शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय लखनऊ का दीक्षांत समारोह शीघ्र होना है। उन्होंने कहा कि अब तक हुए सभी दीक्षांत समारोहों में हैट एवं गाउन के स्थान पर भारतीय परिधान धारण किए गए हैं तथा पदक प्राप्त करने वालों में 65 प्रतिशत छात्राएं हैं।
राज्यपाल ने कहा कि लखनऊ विश्वविद्यालय में शिक्षकों के रिक्त पदों को भरने के निर्देश दिए गए हैं, लगभग 10 वर्ष के बाद विश्वविद्यालय में 200 रिक्त पद भरने की प्रक्रिया शुरु की गई है, जिनमें से 27 पदों पर नियुक्तियां की जा चुकी हैं, 100 शिक्षकों को प्रोन्नति का लाभ दिया गया है। उन्होंने कहा कि रिक्त पदों को भरे जाने से शिक्षा की गुणवत्ता में निश्चित रुप से सुधार आएगा। उन्होंने बताया कि कुलपतियों का कार्यकाल पांच वर्ष करने हेतु राज्य सरकार को प्रस्ताव भेजा गया है, जो अभी विचाराधीन है। उन्होंने बताया कि लखनऊ विश्वविद्यालय में ए ग्रेड नैक ग्रेडिंग प्राप्त करने हेतु तैयारियां की जा रही हैं। लखनऊ विश्वविद्यालय परिसर में बन रहे तेल एवं प्राकृतिक गैस आयोग (ओएनजीसी) शोध केंद्र के भवन निर्माण के संबंध में राज्यपाल ने बताया कि इसके लिए 10 करोड़ रुपए की धनराशि ओएनजीसी ने दी है, भवन का शिलान्यास पिछले वर्ष 26 मार्च को किया गया था, भवन निर्माण का काम पूरा करने के लिए 10 करोड़ रुपए की राशि की और जरूरत है, जिसे प्राप्त करने के लिए उन्होंने पट्रोलियम मंत्री को पत्र भी लिखा है।
लखनऊ विश्वविद्यालय सभा की बैठक में पूर्व में हुई बैठक के कार्यवृत्त की पुष्टि की गई। वर्ष 2016-17 के बजट पर भी चर्चा हुई। परीक्षकों के मानदेय बढ़ाने तथा वार्षिक रिपोर्ट की जानकारी दी गई। बैठक में कुलपति प्रोफेसर एसबी निम्से, प्रति कुलपति प्रोफेसर यूएन द्विवेदी, कुलसचिव डॉ अखिलेश कुमार मिश्रा, वित्त नियंत्रक सुरेश चंद्र उपाध्याय तथा लखनऊ विश्वविद्यालय सभा के सदस्य उपस्थित थे।