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Saturday 9 December 2017 03:19:08 AM
अहमदाबाद। गुजरात के सुरेंद्रनगर जिले में एक करदाता को गलत इरादे से परेशान करने के संबंध में आयकर उपायुक्त डीके मीणा के खिलाफ गंभीर शिकायतें प्राप्त होने के बाद उन्हें निलंबित कर दिया गया है और चेतावनी दी गई है कि ऐसी शिकायतें प्राप्त होने पर बर्खास्तगी तक की कार्रवाई की जाएगी। इस अधिकारी पर आरोप था कि उसने कर निर्धारण आकलन अनुकूल तरीके से पूरा करने के लिए करदाता के चार्टर्ड एकाउंटेंट के जरिये गैर कानूनी अनुग्रह की मांग की थी। सबूत के तौरपर दोनों के बीच बातचीत की ऑडियो रिकॉर्डिंग भी मिली है, जिसमें अन्य बातों के अलावा आयकर विभाग के इस अधिकारी ने मामले को निपटाने के लिए मांगी गई रिश्वत का भी जिक्र किया है।
आयकर उपायुक्त डीके मीणा पर आरोपों की सत्यता की पुष्टि के लिए सीबीडीटी के सतर्कता निदेशालय ने तत्काल रिकॉर्ड मंगवाए। मामले से जुड़े रिकॉर्डों की जांच करने पर गंभीर चूकें और अनियमितताएं पाई गईं, जिनसे आयकर अधिकारी के खिलाफ आरोपों में दम दिखाई दिया। मामले की जांच चल रही है। आयकर विभाग ने कहा है कि वह इस तरह की अनियमितताओं और भ्रष्टाचार को कतई बर्दाश्त नहीं करेगा और सख्त से सख्त कार्रवाई करेगा। जांच लंबित होने के कारण इस आयकर अधिकारी को निलंबित कर दिया गया है। यह घटना इसकी पुष्टि करती है कि आयकर विभाग भी अनैतिक समझौतों की चपेट में है और इसे कई स्तर पर संरक्षण मिलता है।
गौरतलब है कि आयकर विभाग में ऐसी शिकायतों का आना कम नहीं हुआ है और भारत सरकार इस बात से चिंतित है कि आयकर अधिकारियों पर लग रहे आरोपों का अनुश्रवण सख्ती से नहीं हो रहा है। आयकर अधिकारियों के भ्रष्टाचार की शिकायत करने से उद्यमी और व्यवसायी एवं सरकार में बैठे अधिकारी हिचकिचाते हैं और विवाद होने पर समझौता कर लेते हैं। इससे भ्रष्ट आयकर अधिकारी और कर्मचारी कार्रवाई से पाकसाफ बच निकलते हैं। भारत सरकार में इस बात को लेकर मंथन हो रहा है कि क्यों न ऐसे अधिकारियों के खिलाफ ऐसी कड़ी कार्रवाई अख्तियार की जाए, जिसमें अनैतिक समझौते पर पर्दा डालने की गुंजाईश नहीं रहे और अधिकारी या आयकर कर्मचारी अपने कृत्य का अनैतिकरूप से बचाव न कर सके।