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Wednesday 19 October 2022 01:24:48 PM
नई दिल्ली। नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य माधवराव सिंधिया की अध्यक्षता और नागरिक उड्डयन राज्यमंत्री जनरल विजय कुमार सिंह की सह-अध्यक्षता में नई दिल्ली में नागरिक उड्डयन मंत्रियों का सम्मेलन हुआ, जिसमें ज्योतिरादित्य सिंधिया ने मौजूदा नागरिक उड्डयन के परिदृश्य पर प्रकाश डालते हुए कहा हैकि नागरिक उड्डयन क्षेत्र का कठिन समय गुजर चुका है और अब यह अपनी वास्तविक क्षमता के साथ उड़ान भरने के लिए तैयार है। सम्मेलन का आयोजन नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने किया था। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भारत को एक फीनिक्स बताया। उन्होंने कहाकि भारत आज उन कुछ देशों मेसे एक है, जो उच्चमांग वाले वातावरण में निर्बाध रूपसे कामकर रहा है। उन्होंने बतायाकि ऐसा इसलिए संभव हुआ है, क्योंकि कोविड में सरकार ने इस क्षेत्रको बढ़ावा देने केलिए जरूरी कारकों की पहचान की थी और सक्रिय कदम उठाए थे।
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहाकि नागरिक उड्डयन क्षेत्रमें बड़े शहरों की तुलना में टियर II और III शहरों में प्रमुख बढ़ोतरी हुई है, जिससे पता चलता हैकि आमलोगों तक नागरिक उड्डयन की पहुंच होरही है। उन्होंने कहाकि सरकार छोटे शहरों में उड्डयन संबंधी बुनियादी ढांचे को मजबूत करने केलिए लगातार प्रयास कररही है और आरसीएस-उड़ान योजना के माध्यम से वंचित और कम सेवावाले स्थानों तक संपर्क प्रदान किया गया है। उन्होंने कहाकि पिछले छह वर्ष में 70 नए हवाई अड्डों को उड़ान के तहत लाया गया है, इस योजना में लगभग 2.1 लाख उड़ानें भरी गईं और लगभग 1.1 करोड़ यात्रियों ने इसका लाभ उठाया। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बताया कि एविएशन टर्बाइन फ्यूल (एटीएफ) की लागत एक चुनौती बनी हुई है, क्योंकि यह विमानसेवा परिचालन के कुल खर्च में इसका हिस्सा 45-50 फीसदी है। उन्होंने उन 28 राज्यों का आभार व्यक्त किया, जिन्होंने एटीएफ पर वैट घटाकर 1-4 फीसदी कर दिया है। उन्होंने बाकी 8 राज्यों से वैट कम करने का अनुरोध किया, जिससे विकास की राह में आने वाली बाधाओं को दूर किया जा सके। उन्होंने कहा कि सस्ता कच्चा माल बेहतर संपर्क को प्रोत्साहन देगा।
हवाईअड्डों के मुद्दे पर ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहाकि अगले चार वर्ष में सरकार और निजी क्षेत्रकी ओरसे इसमें लगभग 95,000 करोड़ रुपये के निवेश की संभावना है, इसमें ग्रीनफील्ड केसाथ-साथ ब्राउनफील्ड हवाईअड्डे भी शामिल हैं। उन्होंने बतायाकि भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण लगभग 40 हवाईअड्डों के विस्तार और 3-4 नए ग्रीनफील्ड हवाई अड्डों के निर्माण पर कामकर रहा है, इसी तरह निजी क्षेत्रभी 60 ब्राउनफील्ड और 3 ग्रीनफील्ड हवाईअड्डों पर कामकर रहा है। उन्होंने बतायाकि पिछले 8 वर्ष में हवाईअड्डों की संख्या 74 से बढ़कर 141 (हेलीपैड व वाटरड्रोम सहित) हो गई है और अगले 4-5 वर्ष में यह संख्या 200 से अधिक होने की संभावना है। उन्होंने सुदूरस्थान तक संपर्क प्रदान करने में हेलीपैड के महत्व पर जोर दिया। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बतायाकि हालही में सरकार ने 21 राज्यों में हेलीकॉप्टर परिचालन को प्रोत्साहित करने केलिए टीएनएफसी/ आरएनएफसी शुल्क को समाप्त कर दिया है। उन्होंने राज्यों से हर जिले में हेलीपैड स्थापित करने का अनुरोध किया।
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने हालही में श्रीनगर में हेली-इंडिया शिखर सम्मेलन में शुरू की गई तीन पहलों का उल्लेख किया, इनमें आंशिक स्वामित्व केलिए दिशानिर्देश तैयार करना, हेलीकॉप्टर आपातकालीन चिकित्सा सेवाओं केलिए संजीवनी परियोजना और आकाश परियोजना हैं। उन्होंने बतायाकि 82 हेलीकॉप्टर गलियारे की पहचान की गई है, इसके अलावा उन्होंने देशमें उड़ान प्रशिक्षण संगठन की क्षमता बढ़ाने और इंजन सर्विसिंग की सुविधाओं के बारेमें भी बात की। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने ड्रोन तकनीक पर कहाकि एक नई क्रांति शुरू हो गई है और भारत इस क्षेत्रमें पहल का नेतृत्व कर रहा है। उन्होंने कहाकि ड्रोन को बढ़ावा देने केलिए एक अनुकूल नीति पहले से ही मौजूद है, पीएलआई योजना के माध्यम से प्रोत्साहनों की घोषणा की गई है और 22 मंत्रालयों की ओर से इसपर ध्यान देनेके साथ ड्रोन सेवाओं के उपयोग को बड़े पैमाने पर बढ़ावा दिया जा रहा है। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहाकि सरकार नागरिक उड्डयन क्षेत्रका विस्तार करने केलिए तैयार है। उन्होंने राज्यों से अधिक से अधिक भागीदारी करने और प्रगति में रचनात्मक भागीदार बनने का आह्वान किया।
नागरिक उड्डयन राज्यमंत्री जनरल वीके सिंह ने कहाकि विमानन क्षेत्र लगभग कोविड से पहले के स्तर पर पहुंच गया है और आरसीएस उड़ान योजना ने उड्डयन में लोगों की यात्रा का लोकतंत्रीकरण किया है। उन्होंने केंद्र सरकार के कई कदमों का उल्लेख किया। डॉ सिंह ने राज्यों से देशमें नागरिक उड्डयन क्षेत्रके विकास को आगे बढ़ाने में अपना पूरा समर्थन देने का आह्वान किया। नागरिक उड्डयन मंत्रियों के सम्मेलन से पहले बीते सोमवार को नागरिक उड्डयन सचिवों का सम्मेलन आयोजित किया गया था। इसकी अध्यक्षता भारत सरकार के नागरिक उड्डयन मंत्रालय में सचिव राजीव बंसल ने की थी। दो दिवसीय सम्मेलन की श्रृंखला का उद्देश्य नागरिक उड्डयन क्षेत्रकी वृद्धि करने और इसे विकसित करने केलिए राज्य नागरिक उड्डयन विभागों और नागरिक उड्डयन मंत्रालय केबीच अधिक सहयोग और समन्वय को बढ़ावा देना था।