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Thursday 1 June 2023 04:50:54 PM
नई दिल्ली। नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल प्रचंड केसाथ आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हैदराबाद हाउस नई दिल्ली में प्रेस वक्तव्य देते हुए सबसे पहले प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल प्रचंड और उनके साथ आए प्रतिनिधिमंडल का भारत में हार्दिक स्वागत किया और कहाकि उन्हें याद हैकि 9 साल पहले 2014 में कार्यभार संभालने के तीन महीने के भीतर उन्होंने नेपाल की अपनी पहली यात्रा की थी, उस समय उन्होंने भारत-नेपाल संबंधों केलिए एक हिट फार्मूला दिया था-हाईवेस, आईवेस और ट्रांसवेस। नरेंद्र मोदी ने कहाकि उन्होंने कहा थाकि भारत और नेपाल केबीच ऐसे संपर्क स्थापित करेंगेकि हमारी सरहदें हमारे बीच बाधा नहीं बनेंगी। उन्होंने कहाकि ट्रक्स की जगह पाइपलाइन से तेल का निर्यात होना चाहिए, साझा नदियों के ऊपर ब्रिज बनाने चाहिएं और नेपाल से भारत को बिजली निर्यात करने केलिए सुविधाएं बनाई जानी चाहिएं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि आज 9 साल बाद उन्हें यह कहते हुए ख़ुशी हैकि भारत-नेपाल पार्टनरशिप वाकई में हिट है, बीते 9 साल में हमने अनेक क्षेत्रों में कई उपलब्धियां हासिल की हैं, बीरगंज में नेपाल की पहली आईसीपी बनाई गई है, भारत-नेपाल केबीच हमारे क्षेत्र की पहली सीमापार से पेट्रोलियम पाइपलाइन बनाई गई है, पहली ब्रॉड-गेज रेल लाइन स्थापित की गई है, सीमापार नई ट्रांसमिशन लाइंस का निर्माण किया गया है और अब हम नेपाल से 450 मेगावाट से अधिक बिजली आयात कर रहे हैं। नरेंद्र मोदी ने कहाकि आज मैंने और प्रधानमंत्री पुष्पकमल दहल प्रचंड ने भविष्य में अपनी पार्टनरशिप को सुपरहिट बनाने केलिए बहुत से महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं, आज ट्रांजिट अग्रीमेंट संपन्न किया गया है, इसमें नेपाल के लोगों केलिए नए रेल रूट्स केसाथ भारत के इनलैंड जलमार्ग की सुविधा का भी प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहाकि हमने नए रेल लिंक स्थापित कर फिजिकल कनेक्टिविटी को बढ़ाने का निर्णय लिया, साथही भारतीय रेल संस्थानों में नेपाल के रेल कर्मियों को प्रशिक्षण प्रदान करने का भी निर्णय लिया गया है।
नरेंद्र मोदी ने कहाकि नेपाल के सुदूर पश्चिमी क्षेत्र से कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने केलिए शिरशा और झूलाघाट में दो और पुल बनाए जाएंगे। उन्होंने कहाकि सीमापार डिजिटल पेमेंट के माध्यम से फाइनेंसियल कनेक्टिविटी में उठाए गए क़दमों का हम स्वागत करते हैं, इसका लाभ हजारों विद्यार्थी, लाखों टूरिस्ट और तीर्थयात्रियों केसाथ मेडिकल ट्रीटमेंट केलिए भारत आए मरीजों को भी मिलेगा। उन्होंने कहाकि तीन आई-सी-पी के निर्माण से आर्थिक कनेक्टिविटी सुदृढ़ होगी। नरेंद्र मोदी ने कहाकि पिछले साल हमने पॉवर सेक्टर में सहयोग केलिए एक लैंडमार्क विज़न दस्तावेज़ अपनाया था, इसको आगे बढ़ाते हुए आज भारत-नेपाल केबीच दीर्घकालिक बिजली व्यापार अग्रीमेंट संपन्न किया गया है, इसके अंतर्गत हमने आनेवाले दस वर्ष में नेपाल से दस हजार मेगावाट बिजली आयात करने का लक्ष्य रखा है। उन्होंने कहाकि फुकोट-कर्णाली और लोअर अरुण पन बिजली परियोजनाओं पर हुए समझौतों से विद्युत क्षेत्र में सहयोग को और बल मिला है, मोतिहारी-अमलेखगंज पेट्रोलियम पाइपलाइन के सकारात्मक प्रभाव को देखते हुए इस पाइपलाइन को चितवन तक लेजाने का निर्णय लिया गया है, इसके आलावा सिलीगुड़ी से पूर्वी नेपाल में झापा तक एक और नई पाइपलाइन भी बनाई जाएगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि चितवन और झापा में नए स्टोरेज टर्मिनल भी लगाए जाएंगे, नेपाल में एक उर्वरक प्लांट स्थापित करने केलिए आपसी सहयोग पर भी हमारी सहमति हुई है। उन्होंने कहाकि भारत-नेपाल के धार्मिक और सांस्कृतिक संबंध बहुत पुराने हैं और बहुत मजबूत हैं, इस सुंदर कड़ी को और मजबूती देने केलिए प्रधानमंत्री पुष्पकमल प्रचंड और मैंने निश्चय किया हैकि रामायण सर्किट से संबंधित परियोजनाओं में तेजी लाई जानी चाहिए,हम अपने रिश्तों को हिमालय जितनी ऊंचाई देने केलिए काम करते रहेंगे और इसी भावना से हम सभी मुद्दों चाहे सीमा का हो या कोई और विषय सभी का समाधान करेंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर यह भी बतायाकि प्रधानमंत्री पुष्पकमल प्रचंड कल इंदौर और धार्मिक शहर उज्जैन की यात्रा करेंगे और विश्वास हैकि उनकी उज्जैन यात्रा ऊर्जामयी होगी और पशुपतिनाथ से महाकालेश्वर की इस यात्रा में उनको आध्यात्मिक अनुभूति भी होगी।