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Thursday 17 August 2023 12:06:27 PM
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति ने पांच साल की अवधि यानी वित्तीय वर्ष 2023-24 से वित्तीय वर्ष 2027-28 केलिए 13000 करोड़ रुपये के वित्तीय परिव्यय केसाथ नई योजना 'पीएम विश्वकर्मा योजना' को मंजूरी दे दी है। योजना का उद्देश्य गुरु-शिष्य परंपरा या अपने हाथों और औजारों से काम करने वाले कारीगरों एवं शिल्पकारों द्वारा पारंपरिक कौशल के परिवार आधारित पेशे को मजबूत करना और बढ़ावा देना है। कारीगरों और शिल्पकारों के उत्पादों एवं सेवाओं की पहुंच केसाथ गुणवत्ता में सुधार करने केसाथ यह सुनिश्चित करना हैकि विश्वकर्मा घरेलू और वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं केसाथ जुड़ सकें। गौरतलब हैकि देश के 77वें स्वतंत्रता दिवस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लालकिले की प्राचीर से अपने संबोधन में आनेवाले महीने में विश्वकर्मा जयंती पर विश्वकर्मा योजना लॉंच करने की घोषणा की थी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बताया थाकि परम्परागत कौशल्य वोले लोग अर्थात वह लोग जो औजार से और अपने हाथ से काम करने वाले वर्ग यानि जोकि ज्यादातर ओबीसी समुदाय से है, जैसे-सुथार, सुनार, राजमिस्त्री, कपड़े धोने वाले काम करने वाले लोग, बाल काटने वाले, ऐसे लोगों को यह योजना एक नई ताकत देने का काम करेगी। योजना का आरंभ लगभग 13-15 हजार करोड़ रुपये के बजट से किया जाएगा। पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत कारीगरों और शिल्पकारों को पीएम विश्वकर्मा प्रमाणपत्र और पहचानपत्र के माध्यम से मान्यता प्रदान की जाएगी, 5 प्रतिशत की रियायती ब्याज दर केसाथ 1 लाख रुपये पहली किश्त और 2 लाख रुपये दूसरी किश्त तक ऋण सहायता प्रदान की जाएगी।
पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत कौशल उन्नयन, टूलकिट प्रोत्साहन, डिजिटल लेन-देन केलिए प्रोत्साहन और विपणन सहायता प्रदान की जाएगी। विश्वकर्मा योजना भारतभर में ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के कारीगरों एवं शिल्पकारों को सहायता प्रदान करेगी। पीएम विश्वकर्मा के तहत पहले चरण में अठ्ठारह पारंपरिक व्यवसायों को शामिल किया जाएगा, इनमें बढ़ई, नाव निर्माता, अस्त्र बनाने वाला, लोहार, हथौड़ा और टूल किट निर्माता, ताला बनाने वाला, सुनार, कुम्हार, मूर्तिकार पत्थर तराशने वाला पत्थर तोड़ने वाला, मोची जूता कारीगर, राजमिस्त्री, टोकरी/ चटाई/ झाड़ू निर्माता जूट बुनकर, गुड़िया और खिलौना निर्माता, नाई, माला बनाने वाला, धोबी, दर्जी और मछली पकड़ने का जाल बनाने वाला शामिल हैं।